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What is the best exercise for the second heart

60 के बाद शरीर के 'दूसरे दिल' को एक्टिवेट कैसे करें? फिटनेस एक्‍सपर्ट से जानें

अपने पेरेंट्स को 60 के बाद दें हेल्‍दी जीवन का तोहफा! 'सेकंड हार्ट' यानि पिंडलियों की मसल्‍स को मजबूत करने की 4 आसान एक्सरसाइज के बारे में एक्‍सपर्ट से जानें और 60 की उम्र के बाद जीवन को लंबा और हेल्‍दी बनाएं।
Editorial
Updated:- 2025-07-18, 18:57 IST

बढ़ती उम्र के साथ शरीर में कई तरह के बदलाव आने लगते हैं और जो अंग पहले नॉर्मल तरीके से काम करते थे, उन्‍हें ज्‍यादा देखभाल की जरूरत होती है। 60 की उम्र पार करने के बाद अपनी सेहत का ध्‍यान रखना और भी ज्‍यादा जरूरी हो जाता है। क्या आप जानती हैं कि हमारे शरीर में एक 'दूसरा दिल' भी होता है? जी हां, यह कोई रूपक नहीं, बल्कि पिंडली की मसल्‍स हैं, जिन्हें 'सेकंड हार्ट' या पेरिफेरल हार्ट के नाम से जानते हैं।

पिंडली की मसल्‍स आपको सिर्फ चलने में सहारा ही नहीं देती हैं, बल्कि वे आपके दिल की सेहत के लिए भी जरूरी हैं। ये मसल्‍स पैरों से ब्‍लड को वापस दिल तक पहुंचाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाती हैं, खासकर जब आप हिलते-डुलते हैं या चलते हैं। यह हेल्‍प करने वाला ऐसा पंपिंग प्रोसेस है, जो दिल पर पड़ने वाले बोझ को कम करता है और पूरे शरीर में ब्‍लड सर्कुलेशन को सही करता है।

 

 

 

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हममें से ज्‍यादातर लोग खासकर बढ़ती उम्र में बहुत ज्‍यादा देर तक बैठे रहते हैं। ऐसा करने से पिंडलियों की मसल्‍स इनएक्टिव हो जाताी है, जिससे ब्‍लड का सर्कुलशन खराब हो जाता है। इससे पैरों में सूजन, टांगों मे दर्द और वैरिकाज वेन्स जैसी समस्याएं भी हो सकती हैं।

इसे जरूर पढ़ें: क्‍या आपको पता है रात में सोने से पहले पिंडलियों की मालिश करने से क्‍या होता है?

यदि आप चाहती हैं कि 60 की उम्र के बाद आपको पेरेंट्स या घर के बड़े-बुजुर्ग लंबा और हेल्‍दी जीवन जिएं, तो उनके 'दूसरे दिल' यानी पिंडलियों की मसल्‍स को एक्टिव करना आपकी प्राथमिकता होनी चाहिए। पिंडली को मजबूत करने से पैरों से दिल की ओर ब्‍लड पंप करने वाले प्रोसेस में सुधार होता है, जो वैस्कुलर हेल्‍थ के लिए जरूरी है। आज योग और फिटनेस एक्‍सपर्ट 4 ऐसी आसान एक्‍सरसाइज के बारे मेंबता रही हैं,‍ जिन्‍हें रोज कुछ मिनट करने से 'दूसरे दिल' को एक्टिवेट किया जा सकता है और हेल्‍थ से जुड़ी कई समस्‍याओं से बचा जा सकता है।

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हील लिफ्ट्स

यह काफ मसल्‍स को मजबूत बनाने वाली सबसे अच्‍छी और असरदार एक्‍सरसाइज है यह ब्‍लड सर्कुलेशन में सुधार करती है और पैरों को एनर्जी देती है।

  • अपने पैरों को हिप्‍स की चौड़ाई तक खोलकर सीधी खड़ी हो जाएं।
  • धीरे-धीरे एड़ियों को जमीन से ऊपर उठाएं।
  • उंगलियों पर खड़ी हो जाएं। पिंडली की मसल्‍स को टाइट करें।
  • एक या दो सेकंड के लिए इस पोजिशन में रुकें।
  • धीरे-धीरे अपनी एड़ियों को वापस जमीन पर ले आएं।

heel lifts and wide heel lifts exercises for calf muscles

वाइड हील लिफ्ट्स

यह वेरिएशन पिंडली की मसल्‍स के कई हिस्‍सों पर काम करता है और पैरों में ब्‍लड फ्लो को और बेहतर बनाता है

  • अपने पैरों को थोड़ा ज्‍यादा चौड़ा खोलकर सीधी खड़ी हो जाएं।
  • पजों को हल्का बाहर की ओर (जैसे कि V-शेप)रखें ।
  • धीरे-धीरे अपनी एड़ियों को जमीन से ऊपर उठाएं।
  • एक या दो सेकंड के लिए रुकें।
  • धीरे-धीरे एड़ियों को नीचे लाएं।

नैरो हील लिफ्ट्स

यह वेरिएशन भी पिंडली की मसल्‍स के अलग-अलग हिस्से पर काम करता है और मजबूती देता है।

  • पैरों को हिप्‍स की चौड़ाई से थोड़ा कम खोलकर सीधी खड़ी हो जाएं।
  • पंजों को हल्का अंदर की ओर (जैसे कि इन्वर्टेड V-शेप) रखें।
  • धीरे-धीरे अपनी एड़ियों को जमीन से ऊपर उठाएं।
  • एक या दो सेकंड के लिए रुकें।
  • धीरे-धीरे एड़ियों को नीचे लाएं।

narrow and block heel lifts for calf muscles

ब्लॉक हील लिफ्ट्स 

इस एक्‍सरसाइज को आपने ब्‍लॉक की मदद से करना है। यह एक्सरसाइज पिंडली की मसल्‍स की स्‍पीड की पूरी रेंज पर काम करती है, जिससे वे ज्‍यादा मजबूत बनती हैं।

  • लकड़ी का ब्लॉक या योग ब्लॉक लें।
  • अपने पंजों को ब्लॉक के किनारे पर रखें।
  • एड़ियों को जमीन पर या ब्लॉक से नीचे लटका दें।
  • बैलेंस के लिए आप दीवार को पकड़ सकती हैं।
  • धीरे-धीरे एड़ियों को जितना हो सके, उतना नीचे ले जाएं, जब तक पिंडली में स्‍ट्रेच महसूस न हो।
  • अब पिंडली की मसल्‍स को टाइट करते हुए धीरे-धीरे एड़ियों को ऊपर उठाएं, जितना हो सके उतना ऊपर जाएं।
  • एक या दो सेकंड के लिए रुकें।
  • धीरे-धीरे एड़ियों को वापस नीचे ले जाएं।

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अगर आपके माता-पिता एक्सरसाइज बिल्‍कुल नहीं करते हैं, तो उन्हें धीरे-धीरे शुरुआत करनी चाहिए। पहले कम रेपेटिशन और सेट करें, फिर धीरे-धीरे बढ़ाएं। इन एक्सरसाइज को रोज या हफ्ते में कम से कम 5 दिन करने से सबसे अच्छे रिजल्‍ट मिलेंगे। अगर कोई दर्द महसूस हो या अनकंर्फटेबल महसूस तो एक्सरसाइज उसी समय रोक दें। खुद के साथ जबरदस्ती न करें।

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Image Credit: Shutterstock & Instagram

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