सर्दियों के मौसम में बाजार में कई तरह की सब्जियां मिलने लग जाती हैं। इस मौसम में गाजरे भी खूब मिलती हैं, चाहें वो लाल गाजर हो या फिर काली गाजर। हालांकि, बहुत-से लोगों ने लाल गाजर तो खाई होंगी, लेकिन क्या आपने कभी काली गाजर का सेवन किया है। अगर नहीं, तो आपको बता दें कि कई जगहों पर काली गाजर को देसी गाजर भी बोला जाता है। अधिकतर लोग काली गाजर का हलवा खाना खूब पसंद करते हैं।
कहा जाता है कि काली गाजर को खाने से खून भी साफ रहता है। साथ ही, रक्त संचार को बेहतर बनाने में भी कारगर माना जाता है। कई लोगों का यह भी मानना है कि अगर चेहरे पर दाग या फिर पिंपल्स मौजूद हो, तो इसके नियमित सेवन करने से इस परेशानी को दूर किया जा सकता है। यह तभी संभव है जब काली गाजर का नियमित रूप से सेवन किया जाए। क्योंकि काली गाजर बाजार में बहुत कम देखने को मिलती हैं। लेकिन अगर आप चाहें तो इसे घर के गार्डन में भी आसानी से उगा सकती हैं, कैसे आइए जाते हैं।
क्या होती है काली गाजर
काली गाजर कोज़ेलेट्स परिवार में एक प्रकार का शाकाहारी पौधा है जो कुछ देशों में सब्जी की फसल के रूप में उगाया जाता है। यह दिखने में काले रंग की होती है और स्वाद में हल्की मीठी होती है। इसे घर पर 10 इंच गहरे गमले की मदद से उगाया जा सकता है, कैसे आइए जानते हैं।
आवश्यक सामग्री
आपको काली गाजर का पौधा लगाने के लिए कुछ चीजों की जरूरत पड़ेगी, कैसे आइए जानते हैं।
- कंटेनर
- मिट्टी
- बीज
- खाद
- पानी
जानें विधि
- काली गाजर के बीज को कंटेनर में लगाने के लिए सबसे पहले आप 10 इंच गहरा या इससे बड़े आकार का अपनी इच्छानुसार गमला लें।
- इस गमले को अच्छी तरह से धो लें और सुखाने के लिए रख दें। अब दूसरी तरफ आप 50% कोको-पीट और 50% वर्मीकम्पोस्ट (केंचुआ खाद या गोबर) लें और दोनों को अच्छी तरह से मिला लें।
- आप गमले की मिट्टी का ध्यान रखें और अब इसे गमले में डाल दें। जब मिट्टी को आप गमले में डाल दें, तो आप इसे अच्छी तरह से मिक्स कर लें।
- पॉटिंग अच्छी तरह से मिक्स हो जाने के बाद इसमें बीज को लगा दें। आप गाजर के नीचे का हिस्सा भी गमले में लगा सकते हैं।
- बीज को लगाने के बाद आप पौधे में पानी डाल दें। आप उचित मात्रा में पौधे में अच्छी तरह से पानी डालें। क्योंकि शुरुआत में मिट्टी सुखी होती है।
- अब आपका पौधा पूरी तरह से तैयार है लेकिन इसका मतलब ये नहीं है कि कल ही यह पौधा बड़ा हो जाएगा। पौधे की ग्रोथ होने में काफी टाइम लगता है, तो आप थोड़ा सब्र करें।
अगर आपको पौधे के बीज नहीं मिल रहे हैं, तो आप नर्सरी से भी पौधा खरीदकर ला सकते हैं।
बीज कैसा होना चाहिए?
किसी भी सब्जी या फल को गार्डन में उगाने के लिए ज़रूरी है कि बीज कैसा है। अगर बीज सही नहीं है, तो आप कितना भी मेहनत कर लें पेड़ कभी भी नहीं उगेगा। इसलिए बीज का सही चुनाव करना बहुत ज़रूरी है। इधर-उधर से बीज खरीदने से अच्छा है कि आप किसी बीज भंडार में भी जाकर बीज खरीदें। बीज भंडार में सस्ते और अच्छी पैदावर वाले बीज आसानी से मिल जाते हैं।
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मिट्टी किस तरह तैयार करें
बीज खरीदने के बाद बीज लगाने के लिए मिट्टी को तैयार करनाबहुत जरूरी है। इसके लिए मिट्टी को अच्छी तरह से खरोंच दें और एक दिन के लिए धूप में छोड़ दें। इससे मिट्टी सॉफ्ट हो जाती है। इसके बाद मिट्टी में एक से दो मग खाद डालकर अच्छी तरह से मिक्स कर लें और मिट्टी को गमले में डाल दें। गमले में मिट्टी डालने के बाद बीज को गमले में लगभग 2 से 3 इंच गहरा ही लगाएं।
किन बातों का रखें ध्यान
- आप रोजाना गमले में नियमित रूप से पानी डालें।
- ध्यान रहे कि गमले पर सीधी धूप पड़े क्योंकि इस पौधे को धूप की जरूरत होती है।
- गमले में लगे कटिंग या बीज को आप लगभग 10 दिन के बाद चेक कर सकती हैं। साथ ही, अगर आपकी कटिंग पूरी तरह से अंकुरित (फैलाव आना) हो गई है, तो समझ लीजिए आपका पौधा सही उगा है।
- इस गमले की थोड़ी ग्रोथ लगभग 20 से 25 दिनों के बाद होना शुरू होगी और लगभग 90 दिन के बाद इसमें फूल आने लग जाते हैं।
- इसके पौधे को अगर आपको जमीन में रोपना हो, तो इसके लिए 15 सेंटीमीटर ऊंचे और दो फीट चौड़ी मेड़ बनाकर लगाएं।
- पौधे को रोपने के समय फास्फोरस, नाइट्रोजन और पोटाश को मिट्टी में गोबर की खाद के साथ इस्तेमाल करें।
- 4 महीने के बाद आप पौधे की नियमित रूप से कटाई कर सकते हैं। साथ ही, आप हर 4 महीने में गोबर की खाद गमले में मिला सकती हैं
- पौधे में किसी भी तरह की कीटनाशक या रासायनिक युक्त खाद का सीधा इस्तेमाल ना करें।
- अगर आपपौधे में कीड़ों को लगने से रोकना चाहते हैं, तो नीम के तेल को पानी में घोलकर इसका स्प्रे बनाकर इस्तेमाल करें।
काली गाजर खाने के फायदे
काली गाजर का पौधा लगाने के बहुत फायदे हैं क्योंकि काली गाजर खाने के कई हेल्थ बेनिफिट्स हैं। आप आसानी से घर पर ताजी- ताजी गाजरों का सेवन कर सकते हैं।
वेट लॉस में मददगार
अगर आप अपने वजन को तेजी से कम करना चाहती हैं, तो काली गाजर को अपनी डाइट में शामिल करें। चूंकि काली गाजर कम कैलोरी वाली सब्जी है साथ ही इसे खाने से भरे हुए पेट का एहसास होता है और कैलोरी कम होने से वजन कम करने में आसानी होती है।
खून रहता है साफ
कहा जाता है कि काली गाजर खाने को खाने से खून भी साफ रहता है। काली गाजर खून को साफ करने के साथ-साथ रक्त संचार को बेहतर बनाने में भी कारगर माना जाता है। कई लोगों का यह भी मानना है कि अगर चेहरे पर दाग या फिर पिंपल्स मौजूद हों, तो इसके नियमित सेवन करने से इस परेशानी को दूर किया जा सकता है।
पाचन तंत्र
सर्दियों के मौसम में काली गाजर खाने से पाचन तंत्र सही रहता है। कहा जाता है कि काली गाजर फाइबर से भरपूर होती है, जिसके सेवन से पेट से जुड़ी समस्याओं को भी दूर किया जा सकता है। आप इसको ऐसे ही या हवाला या किसी अन्य डिश को बनाकर भी सेवन कर सकती हैं। आजकल बाज़ार में काली गाजर फ्रेश और ताजे खूब मिलती है।
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इन टिप्स को अपनाकर आप आसानी से काली गाजर का पौधा घर में ही उगा सकती हैं। आपको ये लेख पसंद आया हो इसे लाइक और शेयर जरूर करें। साथ ही जुड़ी रहें हरजिन्दगी के साथ।
Image Credit- (@Freepik)
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