माइग्रेन एक प्रकार का सिरदर्द है, जो रोजमर्रा के जीवन को प्रभावित करता है। इसमें सिरदर्द के साथ मतली, उल्टी, रोशनी और ध्वनी के प्रति संवेदनशीलता होती है। कुछ लोग तो ऐसे हैं, जो बिना दवाई लिए ठीक ही नहीं होते हैं। वहीं ओवर द काउंडर दवाई लेना नुकसानदेह भी होता है। लेकिन, क्या आपको मालूम है कि इसे आयुर्वेदिक तरीके से भी ठीक किया जा सकता है। एक्सपर्ट रामिता कौर बताती हैं कि माइग्रेन के दर्द को दूर करने में नीम और आंवला से बनी चाय काफी फायदेमंद साबित हो सकती है। चलिए जानते हैं, इसे बनाने का तरीका क्या है और यह कैसे फायदा पहुंचाती है।
माइग्रेन में फायदेमंद है नीम और आंवला की चाय
सामग्री
- 2 सेनीम की पत्तियां
- 1 कद्दूकस किया हुआ आंवला
- 1 इंच अदरक कद्दूकस किया हुआ
- 1 चुटकी हल्दी
- 1 गिलास पानी
विधि
- एक पैन में 1 गिलास पानी लें और उबालें।
- इसमें नीम की पत्तियां, आंवला, अदरक और हल्दी डालें।
- इस मिश्रण को 10 मिट तक धीमी आंच पर उबलने दें।
- अब इसे छान लें और हल्का गर्म रहने पर सिप-सिप करके पिएं
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नीम में एंटी इंफ्लेमेटरी और डिटॉक्सिफाइंग गुण होते हैं, जो सिरदर्द को कम करने में मदद करते हैं। आंवला विटामिन-सी का बेहतरीन स्रोत है, जो दिमाग को शांत रखने के साथ इम्यूनिटी मजबूत करता है। अदरक में एंटी-इंफ्लेमेटरी गुण माइग्रेन के कारण होने वाली सूजन और दर्द को कम करने में कारगर होते हैं। हल्दी एक नेचुरल पेन रिलीवर की तरह काम करती है।
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Image Credit:Freepik
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