हिंदू संस्कृति और किसी भी तरह की पूजा में भगवान श्रीगणेश जी को सर्वश्रेष्ठ स्थान दिया गया है। किसी भी शुभ काम या पूजा को शुरू करने के लिए सबसे पहले गणेश जी की पूजा की जाती है। देवता भी अपने कार्यों को बिना किसी विघ्न के पूरा करने के लिए गणेश जी की अर्चना सबसे पहले करते हैं। मान्यता के अनुसार गणेश जी की पूजा न केवल आपके कार्यों में आ रही अड़चनों को हटाती है, बल्कि आपकी हर मनोकामना को भी पूरी करती है।
हम सभी के मन में कई सारी इच्छाएं होती हैं। इनमें से कुछ पूरी हो जाती हैं जबकि कुछ अधूरी ही रह जाती हैं। ऐसे में अपनी अधूरी इच्छा को पूरा करने के लिए आप गणेशजी के चरणों में जा सकती हैं। जी हां विघ्नहर्ता गणेशजी को हमारे भाग्य विधाता भी हैं। इसलिए अगर आपकी खोई ख्वाहिश अधूरी है और उसे पूरा करना चाहती हैं तो गणेशजी आपकी हेल्प कर सकते हैं। अपनी मनोकामना को पूरा करने के लिए गणेश जी को कैसे प्रसन्न किया जाए। ये जानने के लिए हर जिंदगी ने पंडित भानुप्रतापनारायण मिश्र जी से बात की। तब उन्होंने हमें विस्तार से इस बारे में बताया। आइए आप भी हमारे साथ विघ्नहर्ता गणेश जी को प्रसन्न करने के टिप्स के बारे में जानें।
इसे जरूर पढ़ें: पूजन विधि और शुभ मुहूर्त के साथ जानें कैसे करनी है आपको गणपति जी की स्थापना
दूर्वा
गणेश जी को खुश करने का सबसे सस्ता और आसान उपाय दूर्वा अर्पित करना है। दूर्वा गणेश जी को इसलिए प्रिय है क्योंकि दूर्वा में अमृत मौजूद होता है। गणपति अथर्वशीर्ष में कहा गया गया है कि जो व्यक्ति गणेश जी की पूजा दुर्वांकुर से करता है वो कुबेर के समान हो जाता है। गणेश जी को कम से कम 21 दूब, 2 शमी और 2 बेल पत्र चढ़ाया जाता है। तुलसी जी गणेश जी को नहीं चढ़ाई जाती हैं।
Recommended Video
मां बाप की सेवा
पंडित भानुप्रतापनारायण मिश्र जी का कहना है कि विघ्नहर्ता गणेश जी को खुश करने का सबसे अच्छा रास्ता मां-बाप की सेवा करना है। गणेश जी उसे ही अपनी भक्ति प्रदान करते हैं जो अपने माता-पिताजी और सास-ससुरजी की सेवा करता है। बुजुर्गों का सम्मान करता है। तीर्थयात्रा आदि हेल्दी रहने पर माता-पिताजी और सास-ससुर जी के साथ ही करता है। इसके अलावा वृक्ष लगाने वालों से भी गणेश जी बेहद प्रसन्न होते हैं। अपने जीवनकाल में कम से कम 108 वृक्ष लगाएं और उन्हें संतान की तरह पाले, बड़ा करें। गणेश जी इन कार्यो से अति प्रसन्न होंगे।
लड्डू
गणपति बप्पा को लड्डू खाना बड़ा पसंद हैं। ये उनके प्रिय व्यंजनों में से एक हैं। अगर आपके मन में कोई भी ख्वाहिश हैं तो आप गणेश मंदिर जाकर विघ्नहर्ता को लड्डूओं को भोग लगा सकते हैं। मूंग की दाल के लडडू गणेश जी को बहुत प्रिय होते हैं। घर में ही पूजा करें तो पूजा के पूरा होने के बाद 21 में से 15 लडडू पंडित जी को दक्षिणा सहित दान कर दें। दक्षिणा नहीं दी तो श्री कथावाचक और श्री ज्योतिषी को ही आपका पुण्य प्राप्त हो जाएगा। गर्मियों में गणेश जी को मूंग के दाल के लड्डू और सर्दियों में गणेश जी को तिल के लड्डू का भोग लगाना चाहिए।
जल अर्पित करना
सुबह गणेश जी के 12 नाम जपते हुए ही उठें। जो नासिका चल रही हो वही पैर गणेश जी कहते हुए रखें। नहाने के बाद सबसे पहले गणेश जी को जल उत्तर दिशा में अर्पित करें। जल को जल में ही अर्पित करना है। यानि आप जिस जगह जल चढ़ाएं वहां या तो कोई गमला रख दें या पहले से ही पानी को गिरा दें। इसके बाद ही पूर्व में सूर्य नारायण और दक्षिण दिशा में अपने पितरों को जल अर्पित करें।
इसे जरूर पढ़ें: गणेश चतुर्थी के दिन यहां होती है धूमधाम से चांद की पूजा
फल
अगर आपके पास धन है तो रोज गणेश जी को कोई न कोई फल जरूर खिलाएं। और पूजा करके इसे तुरंत खा जाये, इसे खाना नहीं है। जामुन, अमरूद, बेल, आम, सेब, संतरा, मौसमी, चीकू, केला, अनार, आलुबुखारा, नारियल आदि मौसम के अनुसार फलों का भोग गणेश जी को लगाना चाहिए।
अगर आप भी अपनी सारी मनोकामना पूरी करना चाहती हैं तो विघ्नहर्ता गणेशजी को ये चीजें जरूर अर्पित करें।