Speech Therapy: बच्चे को बोलने में हो रही है समस्या, स्पीच थेरेपी आ सकती है आपके काम

अगर आपका बच्चा बोल नहीं पाता है या फिर उसे वाक्य बनाने में दिक्कत आती है तो ऐसी परिस्थिति में आपके बच्चे के लिए ‘स्पीच थैरेपी’ मददगार हो सकती है। 

 
speech therapy benefits
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बच्चे के मुंह से निकला पहला शब्द हर मां-बाप के लिए अनमोल होता है, जिसे सुनने के लिए वो बेताब रहते हैं। पर वहीं कई बार यह बेताबी लंबे इंतजार में बदल जाती है और पैरेंट्स अपने बच्चे की आवाज सुनने के लिए तरस जाते हैं। अगर आपके साथ भी कुछ ऐसी ही समस्या पेश आ रही है तो हमारा यह आर्टिकल आपके बेहद काम आ सकता है।

दरअसल, छोटे बच्चे को भाषा का ज्ञान होने में थोड़ा वक्त लगता है। समय के साथ बच्चों में मां-बाप और आस-पास के लोगों से सीखते हुए भाषा की समझ विकासित होती है। वहीं जब यह भाषाई समझ समय के साथ विकसित नहीं हो पाती तो बच्चा सोचने और समझने के बाद भी अपनी बात कहने में समर्थ नहीं हो पाता है। ऐसी स्थिति में बोलने में कठिनाई झेल रहे बच्चों और उनके पैरेंट्स के लिए स्पीच थेरेपी (Speech Therapy) बेहद काम आ सकती है।

क्या है ‘स्पीच थैरेपी’ (What is speech therapy)?

अब समझ लेते हैं कि आखिर ये ‘स्पीच थैरेपी’ है क्या, किन बच्चों को इसकी जरूरत पड़ती है और कैसे यह बच्चों के बोलने में मददगार साबित होती है? तो आपको बता दें कि स्पीच थैरेपी असल में एक तरह की चिकित्सा पद्धति है जिसके जरिए बोलने में आई व्यवहारिक और भाषाई कठिनाई को दूर किया जाता है। आमतौर पर ‘स्पीच थैरेपी’ छोटे बच्चों के लिए मददगार मानी जाती है, जिन्हें शुरुआत में बोलने में दिक्कते होती हैं। पर वहीं किशोरों और युवाओं में बोलने की कुशलता विकसित करने में भी ‘स्पीच थैरेपी’ सहायक होती है।

What is speech therapy

‘स्पीच थैरेपी’ की जरूरत कब पड़ती है (When does a child need 'speech therapy')?

असल में बोलने की शुरुआत करने के लिए बच्चों की कोई निश्चित उम्र सीमा नहीं है। कोई बच्चे कम उम्र में बोलना शुरू कर देते हैं तो वहीं कुछ बच्चे थोड़ा वक्त लेते हैं। लेकिन लेकिन 2 साल की उम्र तक पहुंचते-पहुंचते लगभग सामान्तया बच्चे बोलना शुरु कर ही देते हैं। ऐसे में अगर आपका बच्चा 2 साल की उम्र के बाद भी बोलना नहीं शुरू कर रहा है तो समझ लीजिए कि ऐसी परिस्थिति में आपके बच्चे को ‘स्पीच थैरेपी’ की जरूरत है।

इसके अलावा अगर बच्चा सिर्फ दो या तीन शब्द ही बोल पाता है और उसे पूरा वाक्य बनाने में दिक्कत होती है या फिर किसी शब्द विशेष को बोलने में उसे कठिनाई आ रही है तो भी उसके लिए ‘स्पीच थैरेपी’ मददगार हो सकती है।

‘स्पीच थैरेपी’ किस तरह से मदद करती है (How does speech therapy help children speak)?

अब बात करते हैं कि आखिर ‘स्पीच थैरेपी’ बच्चों को बोलने में किस तरह से मदद करती है? तो बता दें कि ‘स्पीच थैरेपी’ की चिकित्सा पद्धति में प्रोफेशनल स्पीच थेरेपिस्ट या स्पीच-लैंग्वेज पैथोलॉजिस्ट होते हैं जो बच्चों और बड़ों में स्पीच डिसॉऑर्डर को सुधारने के लिए खासतौर पर प्रशिक्षित किए जाते हैं। ये स्पीच थेरेपिस्ट सबसे पहले तो ये जानने की कोशिश करते हैं कि आखिर किस वजह से बच्चे को बोलने में परेशानी हो रही है और फिर एक्सरसाइज और तकनीकी की मदद से बोलने में आ रही उस समस्या का निजात करते हैं।

‘स्पीच थैरेपी’ के दौरान एक्सपर्ट चित्र, आकृति, रंग, खिलौने और किताबों की मदद से बच्चों को बोलने के लिए प्रेरित करते हैं। आपको बता दें कि आजकल हर छोटे-बड़े शहर में स्पीच थेरेपिस्ट या स्पीच-लैंग्वेज पैथोलॉजिस्ट मौजूद हैं, जो निर्धारित सेशन में अपनी सेवाएं देते हैं। इसके लिए जहां कुछ स्पीच थेरेपिस्ट अपने क्लीनिक में बुलाकर सेवाएं देते हैं तो वहीं कुछ स्पीच थेरेपिस्ट घर जाकर भी सेवा देते हैं। आप अपनी सुविधा के अनुसार बच्चे के लिए स्पीच थेरेपिस्ट की सेवा ले सकते हैं।How does speech therapy help children speak

आप खुद भी बच्चे को दे सकते हैं ‘स्पीच थैरेपी’

इसके अलावा आप खुद भी घर में बच्चों को ‘स्पीच थैरेपी’ दे सकते हैं, इसके लिए आप किसी पेशेवर स्पीच थेरेपिस्ट से ‘स्पीच थैरेपी’ की विधियों के बारे में जान कर घर में ही उनकी पैक्टिस बच्चे से करवा सकते हैं। वहीं अगर आपके बच्चे को बोलने में किसी तरह की समस्या आ रही है तो इसके लिए आपको कुछ बातों का ध्यान रखना चाहिए, जैसे कि समय-समय पर अपने बच्चे को बातचीत करने के लिए प्रेरित करते रहें। बच्चे की हर बात को ध्यान से सुनने और समझने की कोशिश करें, इससे बच्चे की बोलने की झिझक कम होगी।

उम्मीद करते हैं यह जानकारी आपके लिए उपयोगी साबित होगी। अगर आपके आसपास या घर-परिवार में किसी बच्चे को ऐसी समस्या है तो इस आर्टिकल को शेयर कर उसके अभिभावक या परिजनों तक यह जानकारी जरूर पहुंचाएं।यह भी पढ़ें- बेस्ट पेरेंटिंग के लिए ध्यान में रखें ये ज़रूरी बातें

वहीं अगर आपके पास भी सेहत से जुड़ी कोई समस्या या सवाल है तो आप हमें बता सकते हैं। हम आपकी समस्या के बारे में एक्सपर्ट से जानकारी हासिल करके आप तक पहुंचाएंगे। इसके लिए आप अपने सवाल हमें इस ईमेल आईडी (yashodhara.virodai@jagrannewmedia.com) पर भेज सकते हैं।

Image Credit:Freepik

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