नासा की अंतरिक्ष यात्री सुनीता विलियम्स की वापसी के लिए स्पेसएक्स (SpaceX) द्वारा विकसित ड्रैगन कैप्सूल बेहद महत्वपूर्ण भूमिका निभा रहा है। यह कैप्सूल आधुनिक तकनीक से लैस एक सुरक्षित और उन्नत अंतरिक्ष यान है, जो अंतरिक्ष यात्रियों को अंतरराष्ट्रीय अंतरिक्ष स्टेशन (ISS) तक ले जाने और वापस लाने में सक्षम है। इस स्पेसक्राफ्ट का डिजाइन और तकनीक इसे अन्य यानों से अलग और बेहद खास बनाती है। आइए जानते हैं ड्रैगन कैप्सूल की प्रमुख खूबियां।
क्या है ड्रैगन कैप्सूल?
ड्रैगन कैप्सूल स्पेसएक्स द्वारा बनाया गया एक पुन: उपयोग करने योग्य स्पेसक्राफ्ट है, जो मानव मिशन और कार्गो मिशन दोनों के लिए इस्तेमाल किया जाता है। इसे पहली बार 2010 में लॉन्च किया गया था और तब से यह कई सफल मिशन पूरे कर चुका है। आसान भाषा में कहें तो ड्रैगन कैप्सूल का काम अंतरिक्षयात्रियों को इंटरनेशनल स्पेस स्टेशन तक पहुंचाना और वहां मौजूद एस्ट्रोनॉट को धरती पर वापस लाना है। जानकारी के लिए बता दें कि ड्रैगन कैप्सूल को एलन मस्क की कंपनी ने तैयार किया था। इसकी टेस्टिंग के लिए कॉमर्शियल टेस्टिंग प्रोग्राम चलाया गया था, जिसके तहत अमेरिकी स्पेस एजेंसी NASA और स्पेसक्स ने मिलकर इसकी टेस्टिंग भी की थी।
ड्रैगन कैप्सूल की खासियत क्या है?
ड्रैगन कैप्सूल दो वेरिएंट में बंटा है। एक क्रू ड्रैगन, जो अंतरिक्ष यात्रियों को ले जाने और लाने का काम करता है। दूसरा कार्गो ड्रैगन, जो कि अंतरिक्ष में जरूरी उपकरण, भोजन और अन्य सामान को पहुंचाने का काम करता है।
6 पैराशूट वाला लैंडिंग सिस्टम
इस कैप्सूल में 6 पैराशूट लगे होते हैं, जो इसकी लैंडिंग को बेहद सुरक्षित बनाते हैं। 2 पैराशूट इस एयरक्राफ्ट की गति को स्टेबल बनाने का काम करते हैं। वहीं, 4 पैराशूट लैंडिंग से पहले स्पेसक्राफ्ट की गति को कम करने में मदद करते हैं। जब यह पृथ्वी के वायुमंडल में प्रवेश करता है, तो पहले छोटे पैराशूट खुलते हैं और फिर मुख्य पैराशूट इसे धीरे-धीरे समुद्र में उतारने में मदद करते हैं।
पूरी तरह से ऑटोमैटिक डॉकिंग सिस्टम
ड्रैगन कैप्सूल में ऑटोमैटिक डॉकिंग टेक्नोलॉजी मौजूद है, जिससे यह बिना किसी बाहरी सहायता के अंतरराष्ट्रीय अंतरिक्ष स्टेशन (ISS) से खुद को जोड़ सकता है और मिशन पूरा होने के बाद अलग भी हो सकता है।
इमरजेंसी एबॉर्ट सिस्टम से लैस
यह ऐसा पहला प्राइवेट स्पेसक्राफ्ट है जो इंसान को स्पेस से धरती तक लाता है। 8.1 मीटर लम्बे ड्रैगन एयरक्राफ्ट में 16 इंजनों का इस्तेमाल किया गया है। अगर लॉन्च के दौरान कोई तकनीकी खराबी आती है, तो इस कैप्सूल में एक Launch Escape System मौजूद है। यह स्पेसक्राफ्ट को रॉकेट से अलग करके अंतरिक्ष यात्रियों को सुरक्षित निकालने में मदद करता है।
अत्याधुनिक टचस्क्रीन कंट्रोल पैनल
इस कैप्सूल के अंदर टचस्क्रीन इंटरफेस दिया गया है, जिससे अंतरिक्ष यात्री इसे बेहद आसानी से ऑपरेट कर सकते हैं। यह पारंपरिक बटनों की तुलना में ज्यादा उन्नत और उपयोग में सरल होता है।
गर्मी से बचाने वाली स्पेशल हीट शील्ड
जब कोई स्पेसक्राफ्ट पृथ्वी के वायुमंडल में प्रवेश करता है, तो अत्यधिक घर्षण के कारण बहुत अधिक गर्मी उत्पन्न होती है। ड्रैगन कैप्सूल में PICA-X हीट शील्ड लगी है, जो 3,000 डिग्री सेल्सियस तक की गर्मी सहन कर सकती है।
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कितने लोगों को ले जा सकता है?
क्रू ड्रैगन कैप्सूल एक बार में 7 अंतरिक्ष यात्रियों को ले जाने की क्षमता रखता है। यह फिलहाल नासा और स्पेसएक्स का सबसे भरोसेमंद क्रू मॉड्यूल है।
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44 बार स्पेस स्टेशन जा चुका है यह कैप्सूल
स्पेसएक्स के अनुसार, ड्रैगन कैप्सूल अब तक 44 बार अंतरराष्ट्रीय अंतरिक्ष स्टेशन (ISS) तक सफलतापूर्वक पहुंच चुका है और कुल 49 मिशन पूरे कर चुका है। कंपनी का कहना है कि यह स्पेसक्राफ्ट एस्ट्रोनॉट्स की सुरक्षित लैंडिंग सुनिश्चित करने के लिए बेहद उन्नत और भरोसेमंद पैराशूट सिस्टम से लैस है।
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