प्रेग्नेंसी की शुरुआत में होने वाली ब्लीडिंग कब नॉर्मल और कब खतरे की घंटी? डॉक्टर से जानें

प्रेग्नेंसी के शुरुआती दिन किसी भी महिला को काफी सजग रहने की जरूरत होती है। प्रेग्नेंसी की शुरुआत में होने वाली ब्लीडिंग कब नॉर्मल और कब मिसकैरिज का संकेत हो सकती है, यह समझना बहुत जरूरी है। चलिए इस बारे में गायनेकोलॉजिस्ट से समझते हैं।
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मां बनना किसी भी महिला की जिंदगी का सुनहरा ख्वाब होता है। कई बार महिलाओं को कंसीव करने में मुश्किल आती है तो कई बार महिलाएं आसानी से कंसीव कर पाती हैं। प्रेग्नेंसी जर्नी भी सभी महिलाओं के लिए अलग-अलग होती है। इस समय पर शरीर में कई बदलाव भी आते हैं और इन हार्मोनल बदलावों के कारण, महिलाएं इस सफर के दौरान अलग-अलग अनुभवों से गुजरती हैं। यह सफर किसी भी महिला के लिए नया होता है और इसलिए इस समय पर महसूस होने वाली चीजों को लेकर कई बार वह डर जाती हैं। प्रेग्नेंसी में कई बार कुछ महिलाओं को हल्की ब्लीडिंग का अनुभव होता है। यह कब नॉर्मल है और कब इसे लेकर आपको घबराने की जरूरत है, चलिए इस बारे में एक्सपर्ट से जानते हैं। यह जानकारी डॉक्टर सोनू खोखर, एमबीबीएस डॉक्टर, हेल्थ एंड वेलनेस एक्सपर्ट (Dr. Sonu Khokhar, MBBS Doctor, Health and Wellness Expert) दे रही हैं।

प्रेग्नेंसी की शुरुआत में होने वाली ब्लीडिंग कब नॉर्मल और कब मिसकैरिज का संकेत?

  • एक्सपर्ट का कहना है कि अगर प्रेग्नेंसी की शुरुआती हफ्तों में ही आपको ब्लीडिंग या स्पॉटिंग महसूस हो रही है, तो यह मिसकैरेज का संकेत भी हो सकता है। ऐसे में इसे नजरअंदाज न करें।
  • इसे लेकर किसी भी घरेलू नुस्खों को न आजमाएं बल्कि तुरंत डॉक्टर की सलाह लें।
  • इसके पीछे कई वजहें हो सकती हैं। शरीर में एचसीजी या प्रोजेस्टेरोन हार्मोन के कम होने के कारण ऐसा होने लगता है। जब एचसीजी हार्मोन कम होता है, तो यूट्रस में बेबी की पकड़ ढीली हो जाती है और इसकी वजह से कई बार मिसकैरेज भी हो सकता है।
  • एचसीजी और प्रोजेस्टेरोन के इंजेक्शन्स, यूट्रस में बेबी की पकड़ मजबूत करने और बेबी को ग्रो करने में मदद करते हैं।
  • कंसीव करने के 6 से 12 दिनों बाद भी कई बार हल्की स्पॉटिंग हो सकती है। इसे इम्पालंटेशन ब्लीडिंग कहा जाता है। यह पूरी तरह से नॉर्मल है।

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  • प्रोजेस्टेरोन और एस्ट्रोजन लेवल में बदलाव के कारण भी शुरुआती हफ्तों में हल्की ब्लीडिंग हो सकती है। हालांकि, यह नॉर्मल है या नहीं, इसे आप खुद से तय नहीं कर सकती हैं। इस बारे में डॉक्टर की सलाह लेनी होगी।
  • ब्लीडिंग किस रंग की है, कितनी है और कब हो रही है, ऐसी कई चीजें हैं, जिनके आधार पर डॉक्टर यह तय करता है कि यह ब्लीडिंग नॉर्मल है या नहीं। अगर आपको प्रेग्नेंसी के शुरुआती हफ्तों में ब्लीडिंग हो रही है, तो डॉक्टर को जरूर दिखाएं।

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प्रेग्नेंसी में अगर आपको कुछ भी असमान्य महसूस हो, तो डॉक्टर की सलाह जरूर लें। अगर आपको स्वास्थ्य से जुड़ी कोई समस्या है, तो हमें आर्टिकल के ऊपर दिए गए कमेंट बॉक्स में बताएं। हम अपने आर्टिकल्स के जरिए आपकी समस्या को हल करने की कोशिश करेंगे।
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Image Credit:Freepik, Shutterstock

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