Best Sawan mela to visit:सावन का महीना अपने साथ सिर्फ बरसात नहीं लाता है। बल्कि, यह भक्ति और उत्सव का समय भी होता है। हिंदू धर्म के मुताबिक, सावन का महीना भगवान शिव को समर्पित होता है। इस महीने में शिव मंदिरों में श्रद्धालुओं का तांता लग जाता है। कहीं कांवड़ यात्रा का आयोजन होता है, तो कहीं भगवान शिव की झांकियां निकलती हैं। सावन में कई धार्मिक स्थलों पर मेला भी लगता है। सावन के मेले भक्ति, आस्था के साथ-साथ संस्कृति की झलक भी दिखाते हैं।
ऐसे तो देशभर के अलग-अलग हिस्सों में सावन के मेले लगते हैं। लेकिन, आज हम इस आर्टिकल में देश के सबसे फेमस और बड़े 5 सावन के मेलों के बारे में बताने जा रहे हैं जहां हर किसी को एक बार जरूर घूम आना चाहिए।
देश में इन 5 जगहों पर लगते हैं सबसे बड़े सावन के मेले
सावन के मेलों का जिक्र जब भी आता है, तो ज्यादातर लोगों को लगता है कि उज्जैन महाकाल में सबसे बड़ा मेला लगता है। लेकिन, ऐसा नहीं है। आइए, यहां जानते हैं कि देश में कहां-कहां सबसे बड़े सावन के मेले लगते हैं और इनकी खासियत क्या है।
हरिद्वार का सावन मेला
सावन के महीने में सबसे ज्यादा हरिद्वार सुर्खियों में छा जाता है। देशभर से शिवभक्त हरिद्वार पहुंचते हैं और वहां से गंगाजल लेकर अपने घर लौटते हैं। कई भक्त को पैदल और नंगे पैर भी हरिद्वार तक यात्रा करते हैं। सावन के महीने में हरिद्वार का माहौल भक्तिमय हो जाता है। जगह-जगह लंगर लगते हैं और श्रद्धालुओं के सेवा में पुलिस से लेकर प्रशासन की तरफ से भी इंतजाम किए जाते हैं। अगर कभी मौका लगे तो सावन के महीने में हरिद्वार जरूर जाना चाहिए, आप यहां आस्था और संस्कृति को अनुभव कर पाएंगी।
इसे भी पढ़ें: हजारों शिवलिंग से मिलकर बना है ग्वालियर का यह प्रसिद्ध मंदिर, दर्शन मात्र से भक्तों की मुरादें होती हैं पूरी
सावन में काशी
हिंदू पुराणों की मानें तो काशी को भगवान शिव की नगरी माना जाता है। ऐसे में यहां सावन का पूरा महीना अलग ही रौनक देखने को मिलती है। काशी विश्वनाथ मंदिर में शिवलिंग का खूबसूरत श्रृंगार होता है और वहां झूला भी सजता है, जिसे देखने के लिए दूर-दूर से शिव भक्त आते हैं। सावन के महीने में काशी विश्वनाथ मंदिर के अलावा अन्य मंदिरों में भी साज-सजावट होती है और धार्मिक कार्यक्रमों का आयोजन किया जाता है।
देवघर का श्रावणी मेला
झारखंड के देवघर में बाबा बैद्यनाथ धाम है। यह 12 ज्योतिर्लिंगों में से एक है। सावन के महीने में यहां भी मेला लगता है। इसे श्रावणी मेला कहा जाता है और इसे देश के सबसे बड़े धार्मिक उत्सवों में गिना जाता है। सावन के महीने में देवघर में देशभर से भक्त कांवड़ लेकर आते हैं और जल लेकर लौटते हैं। भक्तों और श्रद्धालुओं को किसी तरह की परेशानी का सामना न करना पड़े, इसके लिए पुलिस और प्रशासन की तरफ से इंतजाम किए जाते हैं।
ओंकारेश्वर में सावन मेला
मध्य प्रदेश में उज्जैन से लगभग 150 किलोमीटर की दूरी पर ओंकारेश्वर मंदिर है। यह 12 ज्योतिर्लिंगों में से एक है और नर्मदा नदी के किनारे पर स्थित है। इस मंदिर में ऐसे तो सालभर श्रद्धालुओं का तांता लगा रहता है। लेकिन, सावन के महीने में ओंकारेश्वर मंदिर में विशेष पूजा, रुद्राभिषेक और कई धार्मिक आयोजन होते हैं। जिन्हें देखना और इनमें शामिल होना अलग ही दिव्य अनुभव देता है।
इसे भी पढ़ें: भारत के कुछ ऐसे अद्भुत मंदिर जिन्हें बनवाना असंभव लगता है, पर आज भी सीना ताने खड़े हैं, दर्शन मात्र से मुरादें होती हैं पूरी
सोमनाथ मंदिर में सावन
सावन के महीने में गुजरात के सोमनाथ मंदिर में भी अलग ही छटा देखने को मिलती है। यहां कई तरह के धार्मिक आयोजन होते हैं, जिनमें शामिल होने के लिए भक्त दूर-दूर से आते हैं। इसके अलावा सावन में सोमनाथ मंदिर में सजावट होती है और भजन-कीर्तनों का भी आयोजन किया जाता है।
हमारी स्टोरी से रिलेटेड अगर कोई सवाल है, तो आप हमें कमेंट बॉक्स में बता सकते हैं। हम आप तक सही जानकारी पहुंचाने का प्रयास करते रहेंगे।
अगर आपको स्टोरी अच्छी लगी है, इसे शेयर जरूर करें। ऐसी ही अन्य स्टोरी पढ़ने के लिए जुड़े रहें हर जिंदगी से।
Image Credit: Herzindagi
HerZindagi ऐप के साथ पाएं हेल्थ, फिटनेस और ब्यूटी से जुड़ी हर जानकारी, सीधे आपके फोन पर! आज ही डाउनलोड करें और बनाएं अपनी जिंदगी को और बेहतर!
कमेंट्स
सभी कमेंट्स (0)
बातचीत में शामिल हों