(significance of tulsi puja in satyanarayan katha) सनातन धर्म में भगवान विष्णु की पूजा का विशेष महत्व है। खास अवसर पर श्रीहरि की श्रद्धा भाव के साथ पूजा-अर्चना की जाती है। इसलिए मुख्य रूप से एकादशी तिथि, गुरुवार और पूर्णिमा के दिन भगवान विष्णु की पूजा की जाती है। इसी पूजन के दौरान सत्यनारायण की कथा भी पढ़ते और सुनते हैं। पुराणों में सत्यनारायण व्रत कथा का बहुत ज्यादा मायने हैं। बता दें, सत्यनारायण की कथा में तुलसी पूजन होना भी बहुत जरूरी माना जाता है।
तुलसी की बिना पूजा अधूरी होती है। अब ऐसे में सत्यनारायण कथा में तुलसी पूजन का महत्व क्या है।
इसके बारे में ज्योतिषाचार्य पंडित अरविंद त्रिपाठी से विस्तार से जानते हैं।
अगर आप शुभ तिथि में सत्यनारायण की कथा सुनते और पढ़ते हैं, तो व्यक्ति को कई तरह के फायदे हो सकते हैं। सत्यनारायण भगवान का पाठ करने से मन शांत रहता है और श्रद्धा भाव भी जाग जाता है, लेकिन इसके लिए भी कई नियम होते हैं, जिनके पालन करना बहुत जरूरी माना जाता है।
धार्मिक मान्यताओं के अनुसार ऐसा कहा जाता है कि अगर आप सत्यनारायण कथा कहते हैं, तो तुलसी के पौधे के बिना यह पूजा अधूरी मानी जाती है। ऐसा कहा जाता है कि भगवान विष्णु (भगवान विष्णु मंत्र) को तुलसी बेहद प्रिय हैं और तुलसी माता लक्ष्मी (मां लक्ष्मी मंत्र) की स्वरूप हैं। इसलिए इनके बिना सत्यनारायण की पूजा अधूरी है। इस कथा में दांपत्य एक साथ बैठकर पूजा करते हैं। इससे विष्णु जी की कृपा भी प्राप्त हो सकती है और वैवाहिक जीवन भी सुखमय रहता है।
यह विडियो भी देखें
इसे जरूर पढ़ें - Astro Expert Tips: भगवान विष्णु की कृपा पाने के लिए घर में कराएं सत्यनारायण की कथा, जानें इसके लाभ और नियम
इसलिए बिना तुलसी के पौधे के सत्यनारायण भगवान की पूजा अधूरी है। इसलिए अगर आप पूजा कर रहे हैं, तो इस बात का खास ध्यान रखें।
इसे जरूर पढ़ें - घर में होता है विष्णु सहस्रनाम का पाठ तो जरूर ध्यान में रखें ये नियम
सत्यानारयण कथा सुनने और पढ़ने से सौभाग्य की प्राप्ति हो सकती है। ऐसा माना जाता है कि जो व्यक्ति इस कथा को नित्य तिथि के हिसाब से करता है, उसकी सभी मनोकामना भी पूरी हो सकती है। साथ ही सुख-शांति की भी प्राप्ति हो सकती है। अगर आपके वैवाहिक जीवन में किसी भी प्रकार की कोई समस्या उत्पन्न हो रही है, तो सत्यनारायण की कथा विशेष रूप से करवाएं। कथा करने के दौरान सभी परिवार साथ में बैठें। इससे सुख-समृद्धि की प्राप्ति हो सकती है। पूजा के बाद प्रसाद वितरण करना भी सौभाग्य की बात होती है। इसलिए जितने लोगों में पूजा का प्रसाद बांटा जाएगा। उतने ही शुभ परिणाम मिल सकते हैं और जीवन में चल रही समस्याओं से भी छुटकारा मिल सकता है।
अगर आपको यह स्टोरी अच्छी लगी हो तो इसे फेसबुक पर शेयर और लाइक जरूर करें। इसी तरह के और भी आर्टिकल पढ़ने के लिए जुड़े रहें हर जिंदगी से। अपने विचार हमें आर्टिकल के ऊपर कमेंट बॉक्स में जरूर भेजें।
Image Credit- Freepik
हमारा उद्देश्य अपने आर्टिकल्स और सोशल मीडिया हैंडल्स के माध्यम से सही, सुरक्षित और विशेषज्ञ द्वारा वेरिफाइड जानकारी प्रदान करना है। यहां बताए गए उपाय, सलाह और बातें केवल सामान्य जानकारी के लिए हैं। किसी भी तरह के हेल्थ, ब्यूटी, लाइफ हैक्स या ज्योतिष से जुड़े सुझावों को आजमाने से पहले कृपया अपने विशेषज्ञ से परामर्श लें। किसी प्रतिक्रिया या शिकायत के लिए, compliant_gro@jagrannewmedia.com पर हमसे संपर्क करें।