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What are the disadvantages of Overthinkers

ओवरथिंकिंग के कारण आपके करियर पर इस तरह पड़ सकता है नेगेटिव असर

अगर आप जरूरत से ज्यादा सोचती हैं तो इसका नेगेटिव असर सिर्फ आपकी पर्सनल लाइफ पर ही नहीं पड़ता है, बल्कि करियर भी इफेक्ट हो सकता है। जानिए इस लेख में। <div>&nbsp;</div>
Editorial
Updated:- 2024-04-21, 08:00 IST

हम सभी ने बचपन से यही सुना है कि किसी भी काम को बेहद सोच-समझकर करना चाहिए। जब आप सभी पहलूओं पर ध्यान देकर कोई फैसला करते हैं तो इससे गलती होने की संभावना काफी कम हो जाती है। साथ ही साथ, इससे आप अपने टारगेट्स आसानी से पूरा कर पाते हैं। हालांकि, किसी विषय पर विचार करना और जरूरत से ज्यादा सोचने में काफी अंतर है। 

जो लोग ओवरथिंकिंग करते हैं, वे अक्सर किसी भी चीज को अपने दिमाग में बार-बार दोहराते हैं। इतना ही नहीं, उनके लिए कोई सिंपल सी सिचुएशन या घटना बहुत बड़ी बन जाती है। जिसके कारण वे बहुत अधिक परेशान हो जाते हैं। यहां तक कि कई बार तो इस चक्कर में उनकी रातों की नींद तक उड़ जाती है। यह एक ऐसी चीज है, जिस पर उनका कोई नियंत्रण नहीं होता है। यह तो हम सभी जानते हैं कि ओवरथिंकिंग व्यक्ति की पर्सनल लाइफ व उसके मन की शांति को छीन लेती है। लेकिन इसका बुरा असर उनके काम व करियर पर भी पड़ सकता है। तो चलिए आज इस लेख में हम आपको बता रहे हैं कि ओवरथिंकिंग किस तरह आपके करियर को प्रभावित कर सकती है-

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फैसले लेने में समस्या होना

किसी भी ओवरथिंकर के लिए बड़े फैसले लेना काफी मुश्किल हो सकता है। आमतौर पर, अपने करियर में ग्रोथ करने के लिए व्यक्ति को कुछ रिस्की फैसले भी लेने पड़ते हैं। लेकिन एक ओवरथिंकर किसी भी फैसले को लेने से पहले बार-बार उसके बारे में सोचता है। जिसकी वजह से उसका आत्मविश्वास डगमगा जाता है और फिर वह अपना कदम आगे नहीं बढ़ा पाता है। ऐसे में वह अपने जीवन में सफलता का स्वाद नहीं चख पाता है।

दूसरों की सोच से प्रभावित होना

एक ओवरथिंकर की यह आदत होती है कि वह हर छोटी-छोटी बात के बारे में बहुत सोचता है। मसलन, उसे इस बात से भी फर्क पड़ता है कि वर्कप्लेस पर दूसरे लोग उसके बारे में क्या सोचते हैं। जब आप ऐसा सोचने लग जाते हैं तो आप कहीं ना कहीं खुद को मानसिक रूप से परेशान करते हैं। यह सच है कि हर व्यक्ति आपसे खुश नहीं हो सकता है। एक ओवरथिंकर दूसरों की सोच से भी प्रभावित करता है। इससे कहीं ना कहीं उसकी वर्क प्रोडक्टिविटी पर भी नेगेटिव असर पड़ता है।

प्रोडक्टिविटी पर नेगेटिव असर पड़ना

ओवरथिंकिंग का सीधा असर आपकी प्रोडक्टिविटी पर पड़ सकता है। ऐसे लोग अक्सर अपना ज्यादातर समय स्थितियों का विश्लेषण करने में खर्च करते हैं, जिससे उनकी प्रोडक्टिविटी कम होती है। वे अपने काम को करने या फिर आगे बढ़ने की जगह अपने विचारों में ही उलझे रहते हैं। जिससे उनका काम प्रभावित होता है।

हरवक्त तनाव में रहना

अमूमन यह देखने में आता है कि जो लोग ओवरथिंकिंग करते हैं, वे हमेशा ही तनाव में रहते हैं। उन्हें अक्सर अपने पुराने फैसलों या फिर भविष्य के परिणामों को लेकर चिंता रहती है। जब उनकी चिंता व एंग्जाइटी बहुत अधिक बढ़ने लगती है, तो इससे उनकी सेहत तो बिगड़ती है ही, साथ ही साथ जॉब में परफार्मेंस पर भी नेगेटिव असर पड़ता है। यही कारण है कि ओवरथिंकिंग को करियर के लिए बिल्कुल भी सही नहीं माना जाता।

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Image Credit- freepik

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