House Rent Tips: किराए पर घर देने से पहले जरूर कर लें ये 5 काम, नहीं होगी कोई परेशानी

किराएदार का नाम, पता, बैकग्राउंड, और क्रिमिनल रिकॉर्ड पता करें। किराएदार के परिवार के आधार कार्ड की कॉपी लेकर थाने में सूचित करें कि वह आपके घर में रह रहा है। 

 
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अपना घर किराए पर देना एक बढ़िया तरीका है। एक्स्ट्रा इनकम कमाने का, लेकिन इस दौरान कुछ सावधानियां बरतना बेहद जरूरी है। ताकि बाद में कोई परेशानी न हो। आइए जानते हैं कि किराए पर घर देने से पहले आपको क्या-क्या करना चाहिए।

मकान किराए पर देने से पहले, किराएदार के बारे में जानकारी हासिल करने के साथ-साथ कुछ और बातों का ध्यान रखना चाहिए

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किराएदार के बारे में जानकारी हासिल करें (Tenant identification and verification)

किराएदार का नाम, पता, बैकग्राउंड, और क्रिमिनल रिकॉर्ड पता करें। किराएदार के परिवार के आधार कार्ड की कॉपी लेकर थाने में सूचित करें कि वह आपके घर में रह रहा है। अगर आप छात्रों को किराए पर कमरा दे रहे हैं, तो उनकी जांच-पड़ताल भी कर लें।

पुलिस वेरिफिकेशन कराएं (Police Verification)

किराएदार का पुलिस वेरिफिकेशन करवाना जरूरी होता है। पुलिस वेरिफिकेशन का फॉर्म, संबंधित राज्य की पुलिस की वेबसाइट पर मिल जाता है। अगर आप पुलिस वेरिफिकेशन नहीं कराते, तो आपको जुर्माना भी देना पड़ सकता है।

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लिखित एग्रीमेंट बनवाना (Rent Agreement)

किराएदार के साथ एक लिखित एग्रीमेंट बनाएं, जिसमें दोनों पक्षों के हितों की रक्षा के लिए नियम और शर्तें शामिल हों। जैसे कि, मकान में कोई नुकसान होने पर किराएदार जिम्मेदार होगा, किराया कितने दिनों बाद बढ़ाया जाएगा, और बिजली के मीटर अलग रखे जाएंगे। एग्रीमेंट में टर्मिनेशन क्लॉज भी शामिल करें, जिसमें नोटिस पीरियड और समय पूरा होने पर खत्म होने की शर्तें बताई जाएं। एग्रीमेंट की एक कॉपी अपने पास रख लें और मूल कॉपी मालिक के पास रख दें।

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इस एग्रीमेंट में, किराए देने की शर्तें, मंथली रेंट, सिक्योरिटी डिपॉजिट, और एग्रीमेंट की अवधि जैसी बातें तय करें। एग्रीमेंट में यह भी तय करें कि अगर मकान में कोई नुकसान होता है, तो उसकी जिम्मेदारी किराएदार की होगी। एग्रीमेंट को हर 11 महीने में रिन्यू कराना होता है। खर्च का हिसाब लगाएं। बाथरूम और पानी के नल चेक करें, ताकि यह सुनिश्चित हो सके कि कोई लीकेज न हो।

घर की स्थिति का दस्तावेजीकरण (Property Condition Documentation)

घर को किराए पर देने से पहले उसकी स्थिति का दस्तावेजीकरण करना जरूरी है। इसके लिए घर की तस्वीरें या वीडियो बना लें, जिसमें फर्नीचर, इलेक्ट्रॉनिक्स, दीवारों की स्थिति आदि साफ दिखाई दें। यह दस्तावेजीकरण किरायेदारी खत्म होने पर किसी भी प्रकार की क्षति की स्थिति में आपको सुरक्षा प्रदान करेगा।

सिक्योरिटी डिपॉजिट (Security Deposit)

किराए पर घर देने से पहले सिक्योरिटी डिपॉजिट की राशि तय कर लें। यह राशि आमतौर पर एक से तीन महीने के किराए के बराबर होती है और इसे किरायेदारी के अंत में वापस किया जाता है, बशर्ते कि घर को कोई नुकसान नहीं पहुंचाया गया हो। सिक्योरिटी डिपॉजिट किरायेदार द्वारा घर को किसी भी प्रकार की क्षति से बचाने के लिए एक प्रकार की गारंटी होती है।

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Image Credit- freepik

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