herzindagi
image

Ancient Food Rules: वो 5 पारंपरिक बातें जो हेल्थ के लिए आज भी हैं बेस्ट, क्या कहती हैं न्यूट्रिशनिस्ट?

खाना बनाना और उसे खाना ही जरूरी नहीं है। आपको उससे जुड़े न‍ियमों के बारे में भी जानना चाह‍िए। इससे खाने का स्‍वाद तो जबरदस्‍त होगा ही, साथ ही आपकी सेहत को भी फायदे होंगे।
Editorial
Updated:- 2025-10-06, 12:32 IST

आजकल की भागदौड़ भरी ज‍िंदगी में लोग अपने खानपान पर सही ढंग से ध्‍यान नहीं दे पा रहे हैं। अगर आपकी डाइट हेल्‍दी और सही होती है तो इससे आपकी सेहत भी तंदुरुस्‍त रहती है। आप भी बचपन से सुनते आए होंगे क‍ि हम जो भी खाते हैं, वो हमारी सेहत पर लगता है। खाने का असर सिर्फ हमारे शरीर पर ही नहीं, बल्कि हमारी सोच पर भी पड़ता है।

आयुर्वेद में भी खाने से जुड़ी कई जरूरी बातें बताई गईं हैं। साफ तौर से बताया गया है क‍ि कौन-सा खाना किस मौसम में और किस तरीके से खाना चाहिए, ताकि हमारा शरीर हेल्‍दी रह सके। हाल ही में सेलिब्रिटी न्यूट्रिशनिस्ट श्वेता शाह ने अपने इंस्‍टाग्राम पोस्‍ट पर कुछ पुराने लेकिन जरूरी फूड रूल्स शेयर किए हैं, जिन्हें हम अक्सर भूल जाते हैं।

उन्होंने लिखा है क‍ि आयुर्वेद में कुछ आसान लेकिन असरदार नियम बताए गए हैं जो आपके डाइजेस्‍ट‍िव स‍िस्‍टम को मजबूत बनाते हैं, साथ ही आपकाे सेहतमंद भी रखते हैं। हम आपको अपने इस लेख में उन्‍हीं न‍ियमाें के बारे में बताने जा रहे हैं। आइए जानते हैं-

दूध वाला नियम (Milk Rule)

आयुर्वेद में कच्चे दूध को ‘दुर्जर’ बताया गया है, यानी ये आसानी से डाइजेस्‍ट नहीं हो पाता है।  श्वेता का कहना है क‍ि दूध हमेशा उबालकर ही पीना चाहिए। उबला हुआ दूध शरीर के लिए हल्का और ज्‍यादा फायदेमंद होता है।

 

 

 

View this post on Instagram

A post shared by Shweta Shah (@shweta_shah_nutritionist)

 

इसे भी पढ़ें: प्याज काटने पर पानी की तरह बहते हैं आंसू, अपनाएं ये कारगर ट्रिक्स... नहीं होगी परेशानी

lentils

दाल वाला नियम (Lentils Rule)

दाल को जब भी पकाएं, उससे पहले इसे आधे घंटे के ल‍िए भिगो दें। ऐसा करने से उसमें मौजूद एंटी-न्यूट्रिएंट्स (जो शरीर में पोषक तत्वों के अवशोषण को रोकते हैं) निकल जाते हैं। दाल भिगोने से गैस बनने की संभावना कम होती है और प्रोटीन भी शरीर में अच्छे से एब्‍जॉर्ब होता है।

सूप वाला नियम (Soup Rule)

श्वेता शाह कहती हैं क‍ि सूप में कोई भी फ्रूट्स नहीं म‍िलाने चाह‍िए। ऐसा करने से फल फर्मेंट होकर पेट में गैस और ब्लोटिंग (पेट फूलना) जैसी समस्‍या पैदा करते हैं। इसके अलावा उनका कहना है क‍ि सूप हमेशा गुनगुना या गरम ही पीना चाहिए। आयुर्वेद में बताया गया है क‍ि गरम सूप पीने से डाइजेशन बेहतर होता है।

मसालों का नियम (Spice Rule)

आप खाने बनाने में ज‍िन मसालों का इस्‍तेमाल करती हैं, उसे बाजार से लेने के बजाय खुद मसालों को भूनकर पीसें और स्टोर करें। भुने हुए साबुत मसालों में स्वाद और गुण लंबे समय तक बने रहते हैं। इससे डाइजेशन तो बेहतर रहता ही है, साथ ही खाना भी स्‍वाद‍िष्‍ट बनता है।

spices

फलों का नियम (Fruits Rule)

फलों को हमेशा अलग से खाना चाहिए, खाने के साथ नहीं। अगर आप खाना खाने के तुरंत बाद फल खाती हैं, तो वो पेट में फर्मेंट होकर एसिडिटी और गैस जैसी द‍िक्‍कतें पैदा कर सकते हैं। आप चाहें तो सुबह इसे खाली पेट भी खा सकती हैं।

इसे भी पढ़ें: आखिर क्यों Co-Pilot के साथ पायलट नहीं खा सकता है खाना?

अगर आप इन छोटे-छोटे नियमों को अपनाएंगी, तो आपकी पाचन शक्ति और सेहत दोनों बेहतर रह सकते हैं।

अगर आपको यह स्टोरी अच्छी लगी है, तो इसे शेयर जरूर करें। ऐसी ही अन्य स्टोरी पढ़ने के लिए जुड़ी रहें हरजिंदगी से।

Image Credit- Freepik

यह विडियो भी देखें

Herzindagi video

Disclaimer

हमारा उद्देश्य अपने आर्टिकल्स और सोशल मीडिया हैंडल्स के माध्यम से सही, सुरक्षित और विशेषज्ञ द्वारा वेरिफाइड जानकारी प्रदान करना है। यहां बताए गए उपाय, सलाह और बातें केवल सामान्य जानकारी के लिए हैं। किसी भी तरह के हेल्थ, ब्यूटी, लाइफ हैक्स या ज्योतिष से जुड़े सुझावों को आजमाने से पहले कृपया अपने विशेषज्ञ से परामर्श लें। किसी प्रतिक्रिया या शिकायत के लिए, compliant_gro@jagrannewmedia.com पर हमसे संपर्क करें।