Tips for working women to balance career and family:मां बनना दुनिया का सबसे खूबसूरत अहसास माना जाता है। लेकिन, यह खूबसूरत अहसास कब जिंदगी की भागम-भाग के बीच फीका पड़ जाता है, हमें पता ही नहीं लगता है। जी हां, मां बनने के बाद करियर और फैमिली के बीच बैलेंस बनाकर रखना बिल्कुल भी आसान नहीं होता है। क्योंकि, एक मां का मन तो घर पर अपने बच्चे के पास होता है। लेकिन, ऑफिस की जिम्मेदारियां वर्क प्लेस पर खींचकर ले जाती हैं। वहीं, कई बार तो ऑफिस की मीटिंग्स, डेडलाइन्स, ट्रैवल और वर्क प्रेशर के बीच बच्चे की मुस्कान और शैतानियां देखने का टाइम भी नहीं मिल पाता है।
इस सिचुएशन में एक मां के मन में आने लगता है सिर्फ गिल्ट। गिल्ट की वजह से मन में यह ख्याल बैठ जाता है कि क्या मैं एक अच्छी मां हूं? क्या करियर के चक्कर में अपने बच्चों से दूर हो गई हूं? अगर आप भी ऐसा सोचती हैं तो यह परेशानी सिर्फ आपके साथ नहीं है। लाखों वर्किंग मदर्स फैमिली और करियर के बीच बैलेंस बनाने की जद्दोजहद से गुजर रही हैं। हालांकि, अगर कुछ चीजों को मैनेज किया जाए और अपनी लाइफ में टिप्स एंड ट्रिक्स को फॉलो किया जाए तो आप करियर और फैमिली के बीच बैलेंस मेंटेन कर सकती हैं। अगर आप भी करियर और फैमिली के बीच फंसा महसूस कर रही हैं, तो यहां हम कुछ टिप्स लेकर आए हैं जिनकी मदद से आप दोनों के बीच बैलेंस बना सकती हैं।
फैमिली और करियर के बीच बैलेंस बनाने के लिए अपनाएं ये स्मार्ट टिप्स
- डेली रूटीन बनाएं: फैमिली और करियर के बीच बैलेंस बनाने के लिए डेली रूटीन होना जरूरी है। रूटीन में काम और बच्चों के लिए अलग-अलग टाइम रखें। पहले अपना ऑफिस का काम निपटाएं, जिससे बच्चों के क्वालिटी टाइम में डिस्टर्बेंस न आए।
- फ्लैक्सिबिलिटी रखें: ऐसे तो डेली रूटीन फैमिली और करियर के बीच बैलेंस बनाने में मदद करता है। लेकिन, आप अपना प्लान फ्लैक्सिबल रखें। क्योंकि, कुछ चीजें अचानक आ जाती हैं। ऐसे में अपने आपको हर सिचुएशन के लिए तैयार रखें।
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- छोटे ब्रेक्स लें: हमेशा काम में फंसे रहने की वजह से बच्चों की छोटी-छोटी चीजें मिस हो जाती है। ऐसे में जब भी ऑफिस में ब्रेक मिले तो बच्चों से फोन पर या वीडियो कॉल पर बात करें।
- घर पर काम न लाएं: ऑफिस से लौटने के बाद अपना टाइम बच्चों और फैमिली के लिए रखें। इस समय ऑफिस की टेंशन और काम को बच्चों के सामने न लाएं। साथ ही कोशिश करें कि बच्चों के लिए घर का वातावरण सुरक्षित और खुशनुमा रहे।
- डिजिटल डिटॉक्स करें: बच्चों के साथ जब भी रहें तब फोन, लैपटॉप या ऑफिस के नोटिफिकेशन्स से थोड़ी दूरी बनाकर रखें। क्योंकि, किसी ईमेल या नोटिफिकेशन को देखकर आपका मूड बिगड़ सकता है। जिसकी वजह से बच्चों के साथ आपका क्वालिटी टाइम खराब हो सकता है।
- मदद मांगे: आप वुमेन हैं, सुपरवुमेन नहीं। इस बात का ध्यान रखें और कोशिश करें कि घर और बच्चों की जिम्मेदारियां उठाने में परिवार के अन्य लोगों से मदद लें। आप चाहें तो पति, बच्चों के दादा-दादी या नाना-नानी से मदद मांग सकती हैं।
- छुट्टियां करें प्लान: बच्चों के स्कूल फंक्शन से लेकर अन्य इवेंट्स पर मौजूद रहने की कोशिश करें। इसके लिए अपनी छुट्टियों को ठीक तरह से प्लान करें। बेफिजूल की छुट्टियां लेने से बचें और खास मौकों पर उन्हें इस्तेमाल करें। इससे आप बच्चों के खास मोमेंट्स भी एन्जॉय कर पाएंगी।
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- बैकअप रखें: यह हर वर्किंग वुमेन के लिए जरूरी होता है। बैकअप में ऐसे 3 लोगों को रखें जो आपकी गैरमौजूदगी में बच्चे का इमरजेंसी यानी बच्चे की बीमारी या किसी अन्य जरूरत के समय साथ दे सकें। ये 3 लोग आपकी खास दोस्त, परिवार का सदस्य या भरोसेमंद पड़ोसी हो सकता है।
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Image Credit: Shutterstock
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