गार्डनिंग की शौकीन महिलाएं अक्सर अपने बगीचे या गमलों में तरह-तरह की सब्जियों के पौधे या बेल लगाती हैं। इन्हीं में से एक- परवल की बेल भी है, जिसकी ताजी सब्जियां खाने के लिए महिलाएं अपनी बालकनी, छत या गार्डन में लगाती हैं, पर कई बार खूब मेहनत करने के बाद भी उसकी बेल पर एक भी परवल नहीं निकलता है। यह स्थिति वाकई निराशाजनक होती है, लेकिन हरी-भरी बेलें, स्वस्थ पत्तियां, बेल में फल न आने की समस्या आदि बागवानों को काफी परेशान करती है। परवल की जड़ों के पास अगर सही पोषण और उचित देखभाल मिले तो यह पूरे सीजन खूब फल दे सकती है। अक्सर इस समस्या का मूल कारण मिट्टी में जरूरी पोषक तत्वों की कमी होती है। इस कमी को पूरी करने के लिए महंगे रासायनिक खाद खरीदने या इस्तेमाल करने के बजाय आप अपनी रसोई में ही कुछ ऐसी फ्री की चीजों का इस्तेमाल कर सकती हैं, जिन्हें आप अक्सर कचरा समझकर फेंक देती हैं। ये चीजें परवल की बेल के लिए एक शक्तिशाली और प्राकृतिक खाद की तरह काम आ सकती हैं। इससे आपकी बेल फिर से फलने लगेगी और आप पूरे सीजन ताजी-ताजी परवल का आनंद ले सकेंगी। तो आइए इन आसान और असरदार घरेलू नुस्खों के बारे में जानते हैं, जो आपकी परवल की बेल को फलों से भर सकते हैं।
परवल की बेल की अच्छी ग्रोथ के लिए जड़ के पास डालें ये चीजें
अंडे के छिलके
- अंडे के छिलके कैल्शियम कार्बोनेट से भरपूर होते हैं, जो पौधों की कोशिका भित्ति को मजबूत बनाने, फूलों को झड़ने से रोकने और फलों के विकास को बढ़ावा देने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं।
- अंडे के छिलकों को अच्छी तरह धोकर धूप में सुखा लें।
- इन्हें मिक्सर या खलबत्ते में पीसकर एक मोटा पाउडर बना लें।
- इस पाउडर को परवल की बेल की जड़ के चारों ओर मिट्टी में अच्छी तरह से मिला दें।
- महीने में एक बार इसका उपयोग किया जा सकता है।
- कैल्शियम की कमी से फूलों का गिरना और फलों का विकास रुकना आम है। यह कमी पूरी होने पर बेल तेजी से फलने लगती है।
केले के छिलके
- केले के छिलके पोटैशियम, फास्फोरस, कैल्शियम और मैग्नीशियम से भरपूर होते हैं। पोटैशियम विशेष रूप से फूलों के बनने और फलों के विकास व गुणवत्ता के लिए बेहद जरूरी है।
- केले के छिलकों को छोटे टुकड़ों में काटकर धूप में पूरी तरह सुखा लें। इन सूखे टुकड़ों को परवल की बेल की जड़ के पास मिट्टी में 1-2 इंच गहराई में दबा दें। इसके अलावा, आप इसे दूसरे तरीके से भी इसतेमाल कर सकती हैं।
- केले के छिलकों को अन्य तरीके से इस्तेमाल करने के लिए सबसे पहले छोटे टुकड़ों में काट लें। इन्हें पानी में 2-3 दिनों के लिए भिगो दें। इस पानी को छानकर पौधे की जड़ में डालें। यह एक बेहतरीन लिक्विड फर्टिलाइजर है।
- इस तरल खाद का उपयोग हर 15-20 दिनों में, और सूखे छिलके का उपयोग महीने में एक बार कर सकते हैं।
- पोटैशियम फूलों को फल में बदलने की प्रक्रिया को बढ़ाता है और फलों को बड़ा व स्वस्थ बनाता है।
इस्तेमाल की हुई चाय की पत्ती
- इस्तेमाल की हुई चाय की पत्ती में नाइट्रोजन होता है, जो पौधे की हरी-भरी पत्तियों और स्वस्थ वृद्धि के लिए आवश्यक है। यह मिट्टी की संरचना और जल धारण क्षमता में भी सुधार करती है।
- चाय बनाने के बाद बची हुई चाय पत्ती को अच्छी तरह से धो लें ताकि उसमें से चीनी और दूध पूरी तरह निकल जाए।
- फिर, इसे धूप में सुखा लें औरसूखी चाय पत्ती को परवल की बेल की जड़ के पास मिट्टी में मिला दें।
- हर 2-3 हफ्ते में इसका उपयोग किया जा सकता है।
- नाइट्रोजन पौधे को मजबूत और हरा-भरा बनाता है, जिससे उसमें फूलों और फलों के लिए ऊर्जा आती है। यह मिट्टी का pH स्तर को मेंटेन करता है, जो परवल के लिए अनुकूल होता है।
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Image credit- Freepik
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