भारत का अपना एक अलग ऐतिहासिक, सांस्कृतिक व आध्यात्मिक महत्व है। यहां पर कई नदियों को पूजा जाता है और इनमें गंगा नदी सबसे महत्वपूर्ण है। इसके उद्गम स्थल को भी बेहद ही विशेष माना जाता है। गंगा जहां से निकलती है, उसे गंगोत्री कहा जाता है। ऐसी मान्यता है कि देवी गंगा धरती पर इसी स्थान पर उतरी थीं, इसलिए इस स्थान का अपना एक अलग महत्व है।
हालांकि, यहां पर सिर्फ तीर्थयात्री या भक्तगण ही नहीं आते हैं, बल्कि यह स्थान बाइकर्स और एडवेंचर्स एक्टिविटी करने वाले लोगों के लिए भी एक विशेष स्थान है। गंगोत्री वास्तव में हर किसी के घूमने के लिए एक बेहतरीन जगह है। उत्तराखंड के इस खूबसूरत शहर में बहुत कुछ खोजा और आज़माया जा सकता है। तो चलिए आज इस लेख में हम आपको कुछ ऐसी ही चीजों के बारे में बता रहे हैं, जिन्हें आपको एक बार गंगोत्री में जरूर एक्सपीरियंस करना चाहिए-
जब आप गंगोत्री में हैं तो आपको गंगोत्री मंदिर के दर्शन अवश्य करने चाहिए। इसके बिना आपक यात्रा पूरी ही नहीं हो सकती है। यह 18वीं सदी का मंदिर है जो देवी गंगा को समर्पित है। इस मंदिर का निर्माण 18वीं शताब्दी में अमर सिंह थापा नामक गोरखा कमांडर ने करवाया था। 20वीं सदी में इस मंदिर का पुनर्निर्माण जयपुरके महाराजा ने करवाया था। यह भारत में स्थित अपनी तरह का अनोखा मंदिर है। यहां पर सालभर भक्तों का तांता लगा रहता है। जब आप इस मंदिर में जाएं तो मां गंगा की आरती को बिल्कुल भी मिस ना करें।
अगर आप गंगोत्री घूमने के लिए आए हैं और कुछ एडवेंचर्स करने का मन बना रहे हैं तो आपको यहां पर ट्रैकिंग जरूर करनी चाहिए। आप कालिंदी खाल ट्रेक में ट्रैकिंगकर सकते हैं। चूंकि यह ट्रेक काफी कठिन है और इसे आप ट्रैकिंग का मन तभी बनाएं, जब आपके पास इसका एक्सपीरियंस हो। ट्रेक में कुछ घंटे लगते हैं। ट्रैकिंग के दौरान आप खूबसूरत अल्पाइन घास के मैदान, नीचे की ओर बहती सुंदर जलधाराएं और हरे-भरे घास के मैदान देखेंगे।
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गंगोत्री नेशनल पार्क गंगोत्री से महज 1.5 किमी की दूरी पर है और यह गंगोत्री में देखने लायक बेहतरीन जगहों में से एक है। दरअसल, गंगोत्री नेशनल पार्क को गोविंद नेशनल पार्क के रूप में भी जाना जाता है। इस नेशनल पार्क की प्राकृतिक सुंदरता को देखकर हर साल कई बोटेनिस्ट और नेचर लवर लोग यहां पर घूमने के लिए आते हैं। इतना ही नहीं, यहां पर औषधीय पौधों भी मौजूद हैं, जिनका उपयोग सफेद तेंदुए जैसे जंगली जानवरों और कई अन्य विदेशी वन्यजीवों, वनस्पतियों और जीवों के लिए दवा बनाने के लिए किया जाता है।
नेलांग वैली उत्तराखंड के उत्तरकाशी जिले में गंगोत्री नेशनल पार्क के अंदर स्थित है। लगभग 11,000 फीट की ऊंचाई पर स्थित इस वैली में लाहौल-स्पीति और लेह-लद्दाख की तरह ही पहाड़ी रेगिस्तानी दृश्य है। इस स्थान के मुख्य आकर्षण गारस्टैंग गैलियन लकड़ी का पुल, लाल देवता मंदिर, तिब्बती पठार का खूबसूरत दृश्य, हिम तेंदुआ, हिमालयी नीली भेड़ और कस्तूरी हिरण जैसी कई वन्यजीव प्रजातियां हैं।
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