क्या आप जानना चाहते हैं कि आखिर सेमी ऑटोमैटिक और फुली ऑटोमैटिक वॉशिंग मशीन में क्या अंतर है? तो बता दें, कि सेमी ऑटोमैटिक में कपड़ों की वॉशिंग और ड्राइंग के लिए दो अलग-अलग ड्रम दिए जाते हैं, जबकि फुली ऑटोमैटिक में यह काम एक ही ड्रम में हो जाता है। सेमी ऑटोमैटिक में आपको मैनुअली कपड़े वॉशर से ड्रायर में शिफ्ट करने से लेकर वॉश साइकिल सिलेक्ट करने का कार्य करना पड़ता है।
जबकि फुली ऑटोमौटिक में ये सब झंझट नहीं होती है, बस एक बार कपड़े डालकर आप निश्चिंत हो सकते हैं, क्योंकि उसके बाद वॉश मोड और टाइमर से लेकर ड्राइंग तक का काम फुली ऑटोमैटिक वाशिंग मशीन खुद ही करने में सक्षम है। सेमी के मुकाबले फुली ऑटोमैटिक Washers कीमत में थोड़े ज्यादा महंगे हो सकते हैं। साथ ही, कुछ फुली ऑटोमैटिक वॉशिंग मशीन में इन-बिल्ट हीटर, स्टीम वॉश, इंवर्टर टेक्नोलॉजी जैसे स्मार्ट फीचर्स भी देखने को मिलते हैं।
फुली और सेमी ऑटोमैटिक वाशिंग मशीन में से कौन ज्यादा एनर्जी एफिशिएंट है?
एनर्जी एफिशिएंसी वॉशिंग मशीन का एक अहम फैक्टर होता है। ऐसे में अगर हम फुली-ऑटोमैटिक और सेमी-ऑटोमैटिक मशीनों की तुलना करें तो फुली-ऑटोमैटिक ज्यादा एनर्जी एफिशिएंट मानी जाती हैं। इसकी सबसे बड़ी वजह है कि इनके कुछ मॉडल्स एडवांस टेक्नोलॉजी और स्मार्ट सेंसर से लैस होते हैं, जो पानी और बिजली की खपत को नियंत्रित करने में मदद करते हैं। दरअसल ज्यादातर ऑटोमैटिक वाशिंग मशीनों में वॉटर लेवल कंट्रोल, इन्वर्टर मोटर और टाइमर जैसी सुविधाएं होती हैं, जिससे बिजली की बर्बादी कम होती है। जबकि सेमी-ऑटोमैटिक वाशिंग मशीनों को मैनुअली ऑपरेट करना पड़ता है, जिसके कारण मशीन को बार-बार स्टार्ट और स्टॉप करना पड़ता है, और इस वजह से बिजली की खपत बढ़ जाती है। यहां आपको फुली ऑटोमैटिक और सेमी ऑटोमैटिक के कुछ Branded मॉडल्स के बारे में बताया गया है, जो कपड़ों की बेहतर धुलाई में मदद कर सकते हैं।
वॉशिंग मशीन कितने प्रकार की होती हैं?
वैसे तो वॉशिंग मशीन मुख्य रूप से दो प्रकार की होती हैं- सेमी ऑटोमैटिक और फुली ऑटोमैटिक। हालांकि, इन दोनों कैटेगरी में भी अलग-अलग वेरिएंट देखने को मिलते हैं, जो उनकी डिजाइन और फीचर्स के आधार पर अलग होते हैं।
- सेमी-ऑटोमैटिक वाशिंग मशीन में दो टब होते हैं, एक वॉशिंग के लिए और दूसरा स्पिन ड्रायर के लिए। इसमें यूजर को कपड़े धोने के बाद मैन्युअली स्पिन टब में शिफ्ट करना पड़ता है।
- फुली-ऑटोमैटिक वाशिंग मशीन को ऑपरेट करना आसान होता है क्योंकि इसमें वॉशिंग से लेकर ड्राइंग तक सारे प्रोसेस अपने आप पूरे हो जाते हैं। हालांकि फुली-ऑटोमैटिक वाशिंग मशीन में टॉप-लोड और फ्रंट-लोड जैसे वेरिएंट्स देखने को मिलते हैं।
- Top Load वाशिंग मशीन में ऊपर से कपड़े डालने का एक्सेस मिलता है। ये मशीनें कम कीमत में आती हैं और तेजी से धुलाई करती हैं, लेकिन इनमें पानी की खपत ज्यादा हो सकती है।
- फ्रंट-लोड वाशिंग मशीन एडवांस टेक्नोलॉजी से लैस होती हैं और कपड़ों की गहरी सफाई करती हैं। ये कम पानी और बिजली खपत करती हैं और ज्यादा एनर्जी-एफिशिएंट होती हैं। हालांकि, इनकी कीमत थोड़ी ज्यादा हो सकती है।
- Portable वाशिंग मशीन के भी कुछ मॉडल्स बाजार में देखने को मिल जाते हैं, जो कम जगह घेरती हैं और बिजली की बचत करती हैं।
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