आज के डिजिटल युग में जेनरेटिव AI ने आधे से ज्यादा कामों को संभाल लिया है और इसकी वजह से ज्यादा से ज्यादा ले-ऑफ हो रहे हैं। ऐसे में युवा 9 टू 5 की बोरिंग जॉब करना नहीं चाह रहे हैं। वे अपने करियर के लिए नए ऑप्शन की तलाश कर रहे हैं। Gen Z और मिलेनियल्स ऐसे करियर की तलाश में हैं, जिसमें उन्हें ज्यादा फायदा मिले और नई स्किल्स सीखने का मौका भी।
वहीं वर्ल्ड कोनॉमिक फ़ोरम की फ्यूचर ऑफ़ जॉब्स रिपोर्ट 2023 के अनुसार, AI आने की वजह से ऐसे करियर के दरवाजे खुल रहे हैं, जो पहले मौजूद भी नहीं थे। अगले 5 सालों में 69 मिलियन नए जॉब रोल्स पैदा होने की उम्मीद है और 25 फीसदी नौकरियों में बदलाव होने की संभावना है।
आजकल Gen Z और मिलेनियल्स यह पता लगाने की कोशिश कर रहे हैं, कि आगे क्या होगा और उन्हें ऐसी कौन-सी स्किल्स सीखनी होगी, जिसकी वजह से उन्हें नौकरी से हाथ नहीं धोना पड़े। लगातार जॉब सिनेरियो बदल रहा है और ऐसे रोल्स में ढेरों मौके सामने आ रहे हैं, जो न केवल आपको अच्छा सैलरी पैकेज दिलवा सकते हैं, बल्कि लॉन्ग-टर्म ग्रोथ और जॉब सिक्योरिटी का भी वादा करते हैं। इसलिए आज हम आपके लिए फोर्ब्स द्वारा शेयर की गई टॉप 5 Highest Paying Jobs के बारे में बताने वाले हैं, जिसको पढ़कर युवाओं को जॉब से जुड़ी स्किल्स को डेवलेप करना चाहिए।
इसे भी पढ़ें - सिर्फ सर्टिफिकेशन से भी पा सकती हैं लाखों सैलरी वाली नौकरी, जानिए किन क्षेत्रों में मिल सकता है अवसर
डिमांड जेनरेट करना मॉर्डन मार्केटिंग की हार्टबीट है। डिजिटल ट्रांसफॉर्मेशन के कारण हर दिन मार्केट में बदलाव हो रहा है। हर कंपनी मार्केट ट्रेंड के साथ चलना चाहती है। ऐसे में कंपनियों को डिमांड जेनरेशन मैनेजर जैसे रोल की जरूरत पड़ रही है, जो आपके बिजनेस को आपके कस्टमर्स की लगातार बदली प्राथमिकताओं और आदतों के अनुकूल ढाल सके। डिमांड जेनरेशन मैनेजर का काम स्ट्रेटजी,डेटा-ड्रिवेन अप्रोच के साथ सेल्स को बढ़ावा देना होता है।
यह विडियो भी देखें
डिमांड जेनरेशन मैनेजर के पास स्ट्रेटजिक थिंकिंग, डेटा-ड्रिवेन अप्रोच, SEO, PPC नॉलेज, मार्केटिंग ऑटोमेशन, कॉन्टेंट मार्केटिंग, कोलैबरेशन और कम्युनिकेशन के साथ-साथ प्रोजेक्ट मैनेजमेंट स्किल्स होनी चाहिए।
आजकल मार्केट में सोलर पैनल को लेकर काफी डिमांड बढ़ चुकी है, जिसके चलते सोलर इंडस्ट्री में उछाल आया है। भारत में सोलर ऊर्जा को बढ़ावा देने के लिए कई तरह की सरकारी स्कीम्स भी चलाई जा रही हैं। ऐसे में हर महीने कई घरों में सोलर पैनल इंस्टॉलेशन हो रहे हैं, जिसकी वजह से इस इंडस्ट्री में नई जॉब्स पैदा हो रही हैं। सोलर पैनल को बेचने के लिए सोलर सेल्स रिप्रेजेंटेटिव जैसे रोल्स सामने आ रहे हैं। इनका काम केवल पैनल बेचने तक ही सीमित नहीं है, बल्कि ये एक कंसल्टेंट के तौर पर भी काम करते हैं, जो क्लाइंट को उनकी जरूरतों के हिसाब से सॉल्यूशन देते हैं। उन्हें लेटेस्ट टेक डेवलेपमेंट्स के बारे में जानकारी प्रदान करते हैं।
सोलर सेल्स रिप्रेजेंटेटिव के पास टेक्निकल नॉलेज, सेल्स नॉलेज और कस्टमर रिलेशनशिप स्किल्स होनी जरूरी है।
डेटा साइंस अभी बिजनेस में सबसे ज्यादा पॉपुलर ट्रेंड है। यू.एस. ब्यूरो ऑफ़ लेबर स्टैटिस्टिक्स का अनुमान है कि साल 2033 तक डेटा साइंस की नौकरियों में 36 फीसदी बढ़ोत्तरी होने की उम्मीद है, जबकि दूसरे करियर में यह ग्रोथ केवल 3 फीसदी होगी। डेटा साइंटिस्ट का काम रॉ डेटा को निकालकर, उसको एनालाइज करना है। एनालाइज करके ऐसा एल्गोरिदम बनाना है, जो ट्रेंड्स का अनुमान लगा सके। आजकल कंपनियां बिजनेस ऑपरेशन को ऑप्टिमाइज करने या कस्टमर एक्सपीरियंस को पर्सनलाज करने के लिए डेटा साइंटिस्ट को हायर कर रही हैं। डेटा साइंटिस्ट का काम मैथ, कोडिंग और स्ट्रेटजी के बीच कनेक्शन बनाना है।
आपको बता दें कि डेटा साइंटिस्ट और डेटा एनालिस्ट अलग-अलग होते हैं। एनालिस्ट का काम बनाए गए डेटा को एनालाइज करना होता है, जो डेटा साइंटिस्ट के काम को एक कदम आगे ले जाते हैं।
हेल्थकेयर इंडस्ट्री केवल डॉक्टर्स या नर्सों पर नहीं चलती है। इस इंडस्ट्री को आगे बढ़ाने के लिए अच्छे और ऑर्गनाइज लीडर की जरूरत होती है। आजकल हॉस्पिटल, नर्सिंग होम में मेडिकल एंड हेल्थ सर्विस मैनेजर होते हैं, जो सब कुछ अच्छे से मैनेज करते हैं। ये मैनेजर बजट बनाने, स्टाफ भरने और लगातार बदलते हेल्थकेयर लॉ की देखरेख करते हैं। इसके अलावा, इन्हें टेक्निकल और सॉफ्टवेयर नॉलेज भी होता है। मेडिकल एंड हेल्थ सर्विस मैनेजर डॉक्टरों, नर्सों, बीमा कंपनियों के साथ मिलकर काम करते हैं।
इसे भी पढ़ें - सरकारी नौकरी नहीं ये हैं हाई पेड जॉब्स, यहां जानें क्राइटेरिया से लेकर सिलेक्शन प्रोसेस डिटेल
जेनरेटिव AI ने जॉब मार्केट में हलचल मचा रखी है और आजकल प्रॉम्प्ट इंजीनियर की डिमांड बढ़ चुकी है। इस जॉब के लिए कंप्यूटर इंजीनियरिंग या एडवांस कोडिंग स्किल्स की डिग्री की जरूरत नहीं होती है। जनरेटिव AI टूल्स आने के बाद, ऐसे प्रोफेशनल्स की जरूरत पैदा हुई है, जो सिस्टम को बेहतर, ज्यादा पर्सनलाइज्ड रिस्पॉन्स देने के लिए अच्छा प्रॉम्प्ट लिख सकें। प्रॉम्प्ट इंजीनियर जेनरेटिव AI टूल्स को मॉडल कोड बनाने, टेक्स्ट को Synthesize करने से लेकर डिजिटल आर्ट बनाने और चैटबॉट के जरिए कस्टमर इंटरैक्शन को बेहतर बनाने तक सब काम करते हैं।
अगर हमारी स्टोरीज से जुड़े आपके कुछ सवाल हैं, तो आप हमें आर्टिकल के ऊपर दिए कमेंट बॉक्स में बताएं। हम आप तक सही जानकारी पहुंचाने का प्रयास करते रहेंगे। अगर आपको यह स्टोरी अच्छी लगी है, तो इसे शेयर जरूर करें। ऐसी ही अन्य स्टोरी पढ़ने के लिए जुड़ी रहें हरजिंदगी से।
Image Credit - freepik
हमारा उद्देश्य अपने आर्टिकल्स और सोशल मीडिया हैंडल्स के माध्यम से सही, सुरक्षित और विशेषज्ञ द्वारा वेरिफाइड जानकारी प्रदान करना है। यहां बताए गए उपाय, सलाह और बातें केवल सामान्य जानकारी के लिए हैं। किसी भी तरह के हेल्थ, ब्यूटी, लाइफ हैक्स या ज्योतिष से जुड़े सुझावों को आजमाने से पहले कृपया अपने विशेषज्ञ से परामर्श लें। किसी प्रतिक्रिया या शिकायत के लिए, compliant_gro@jagrannewmedia.com पर हमसे संपर्क करें।