herzindagi
Why are minutes and hours divided into

आखिर 7 दिनों का ही क्यों होता है सप्ताह, जानें इसकी खास वजह

आपने कभी ये सोचा है कि आखिर ऐसा क्यों होता है? सप्ताह 7 की जगह 5,6, 8,9 या 10 दिनों का क्यों नहीं होता है। आखिर किसने सप्ताह को सात दिनों का करने का फैसला किया किसने ये कंसेप्ट पूरी दुनिया को दी?
Editorial
Updated:- 2024-02-12, 20:21 IST

ये तो आप सभी लोग जानते होंगे कि सप्ताह में सात दिन होते हैं। हिंदू कैलेंडर हो, अंग्रेजी या इस्लामिक सभी में यह कॉमन है कि सप्ताह के दिन सात ही होते हैं। लेकिन क्या आपने कभी ये सोचा है कि आखिर ऐसा क्यों होता है? सप्ताह 7 की जगह 5,6, 8,9 या 10 दिनों का क्यों नहीं होता है। आखिर किसने सप्ताह के को सात दिनों का करने का फैसला किया किसने ये कंसेप्ट पूरी दुनिया को दी? अगर आप इन सभी सवालों का जवाब जानना चाहते हैं तो आज हम आपकी दुविधा करने वाले हैं। 

कहां से आया 7 दिनों का कंसेप्ट

why seven days in a week

कई साल पहले कई सभ्यताओं ने हफ्तें के दिनों को लेकर रिचर्स किया। शुरुआती सभ्यताओं ने ब्रह्मांड का अवलोकन किया और ग्रहों, सूर्य और चंद्रमा की गतिविधि के आधार पर कई तरह के अनुमान लगाए। माना जाता है कि बेबीलोन मौजूदा इराक के लोक आकाशीय गणना में काफी तेज थे उन्होंने ने सबसे पहले हफ्ते में 7 दिन की बात दुनिया के सामने रखी थी। बेबीलोन के लोगों ने बुध, शुक्र, मंगल, बृहस्पति औऱ चंद्रमा की चालों के आधार पर अवलोकन किया और चंद्रमा के 28 दिन की परिक्रमा के आधार पर 7 दिन के चार हफ्ते बनाए। इसी दिन को चार खंडो में बांटकर 1 महीने और 52 भागों में बांटकर 1 साल बनाया गया।

इसे भी पढ़ें- जानिए कैसे हुई बुफे सिस्टम की शुरुआत

ग्रहों के नाम पर रखे गए दिन के नाम

why seven days in a week history

शुरुआत में इस्लाम और यहूदी धर्म के लोग सात दिन के सप्ताह में 6 दिन काम करते थे और 1 दिन धार्मिक कार्य के लिए रिजर्व रखते थे लेकिन उनके अलावा अन्य लोगों सभी सात दिन काम करते थे। इसको लेकर ही आगे चलकर यह निर्णय किया गया कि सभी लोग सात दिन के सप्ताह में 6 दिन काम करेंगे और एक दिन धार्मिक कार्य करेंगे। इसके बाद ही ग्रह के नाम पर एक-एक दिन का नाम रखा गया। इसके बाद हर दिन का नाम सैटर्न, मून, मार्स, मर्करी, जूपिटर, वीनस रखा गया है, जो बाद में मंडे, संडे, फ्राइडे और हिंदी में गुरुवार, बुधवार, शुक्रवार हो गए।(भारत की वो प्राचीन कलाएं जो समय के साथ हो गईं लुप्त)

यह विडियो भी देखें

इसे भी पढ़ें- इन देशों में बिना केक के सेलिब्रेट किया जाता है बर्थडे, बनाए जाते हैं ये व्यंजन 

 

आपकी राय हमारे लिए महत्वपूर्ण है! हमारे इस रीडर सर्वे को भरने के लिए थोड़ा समय जरूर निकालें। इससे हमें आपकी प्राथमिकताओं को बेहतर ढंग से समझने में मदद मिलेगी। यहां क्लिक करें-

अगर आपको हमारी स्टोरी से जुड़े सवाल हैं, तो आप हमें आर्टिकल के ऊपर दिये गए कमेंट बॉक्स में जरूर बताएं। हम आप तक सही जानकारी पहुंचाने का प्रयास करते रहेंगे। अगर आपको स्टोरी अच्छी लगी है, तो इसे अपने सोशल मीडिया हैंडल पर शेयर करना न भूलें। ऐसी ही अन्य स्टोरी पढ़ने के लिए हर जिंदगी से जुड़े रहें।

Image credit: Freepik

Disclaimer

हमारा उद्देश्य अपने आर्टिकल्स और सोशल मीडिया हैंडल्स के माध्यम से सही, सुरक्षित और विशेषज्ञ द्वारा वेरिफाइड जानकारी प्रदान करना है। यहां बताए गए उपाय, सलाह और बातें केवल सामान्य जानकारी के लिए हैं। किसी भी तरह के हेल्थ, ब्यूटी, लाइफ हैक्स या ज्योतिष से जुड़े सुझावों को आजमाने से पहले कृपया अपने विशेषज्ञ से परामर्श लें। किसी प्रतिक्रिया या शिकायत के लिए, compliant_gro@jagrannewmedia.com पर हमसे संपर्क करें।