क्या होती है नाड़ी एस्ट्रोलॉजी? कैसे महज 24 मिनट में भूत, वर्तमान और भविष्य का चल जाता है पता

ज्योतिष के कई प्रकारों जैसे कि सामुद्रिक शास्त्र, हस्तरेखा शास्त्र, अंक ज्योतिष आदि में से ही एक है नाड़ी ज्योतिष जिसके बारे में बहुत ही कम लोग जानते हैं। नाड़ी ज्योतिष से महज 24 मिनट में किसी भी व्यक्ति के पास्ट, प्रेजेंट और फ्यूचर के बारे में जाना जा सकता है।  
what is the significance of nadi astrology
what is the significance of nadi astrology

ज्योतिष शास्त्र में कई प्रकार की ज्योतिष विद्याओं का उल्लेख मिलता है। अगर इन ज्योतिष विद्याओं का सही प्रयोग किया जाए और इन्हें सही से सीखा जाए तो यह ज्योतिष विद्याएं न सिर्फ किसी के वर्तमान के बारे में सटीक आंकलन कर सकती हैं बल्कि भूत और भविष्य के बारे में भी बता सकती हैं। ज्योतिष के कई प्रकारों जैसे कि सामुद्रिक शास्त्र, हस्तरेखा शास्त्र, अंक ज्योतिष आदि में से ही एक है नाड़ी ज्योतिष जिसके बारे में बहुत ही कम लोग जानते हैं। इसी कड़ी में ज्योतिषाचार्य राधाकांत वत्स ने हमें बताया कि नाड़ी ज्योतिष से महज 24 मिनट में किसी भी व्यक्ति के पास्ट, प्रेजेंट और फ्यूचर के बारे में जाना जा सकता है। आइये जानते हैं नाड़ी ज्योतिष क्या होता है।

क्या है नाड़ी ज्योतिष और इसकी विशेषता? (Kya Hai Nadi Jyotish Aur Iski Visheshta?)

nadi astrology kaise kaam karti hai

नाड़ी ज्योतिष एक ऐसी ज्योतिष विद्या है जिसमें जन्मतिथि, जन्म समय और जन्म स्थान के आधार पर व्यक्ति की कुंडली का विश्लेषण किया जाता है। नाड़ी ज्योतिष के माध्यम से व्यक्ति के अतीत, वर्तमान और भविष्य की घटनाओं के बारे में पता लगाया जा सकता है। नाड़ी ज्योतिष प्राचीन ज्योतिष विद्याओं में से एक है और इसे प्रमुखतः भारत के तमिलनाडु और आस-पास के क्षेत्रों में प्रयोग किया जाता है।

यह माना जाता है कि प्राचीन काल में हिंदू ऋषियों ने कई मनुष्यों के वर्तमान जीवन की भविष्यवाणी की थी और नाड़ी ज्योतिष उन भविष्यवाणियों पर आधारित है। नाड़ी ज्योतिष की विशेषता यह है कि ये महज 24 मिनटमें किसी के भी पास्ट, प्रेजेंट और फ्यूचर के बारे में बता सकती है। नाड़ी ज्योतिष में मनुष्य की उन 24 छोटी इन्द्रियों को पड़ा जाता है जो व्यक्ति के बारे में सब कुछ व्यक्त कर देती हैं।

nadi astrology ki visheshta

नाड़ी ज्योतिष में, व्यक्ति के अंगूठे के निशान और नाम के पहले और आखिरी अक्षर का उपयोग करके जन्मपत्री का मिलान किया जाता है। नाड़ी ज्योतिष में, व्यक्ति की जन्मपत्री ताड़पत्र पर लिखी होती है और ज्योतिषी ताड़पत्र के मिलान के आधार पर व्यक्ति के जीवन के बारे में जानकारी देते हैं। नाड़ी ज्योतिष में तीन प्रकार की नाड़ी होती है: आदि नाड़ी, मध्य नाड़ी और अन्त्य नाड़ी जो व्यक्ति के बारे में बताती हैं।

यह भी पढ़ें:शिव जी के प्रिय '3 अंक' से जुड़ा करें ये उपाय, मिलेंगे अनेकों लाभ

अगर हमारी स्टोरीज से जुड़े आपके कुछ सवाल हैं, तो वो आप हमें कमेंट बॉक्स में बता सकते हैं और अपना फीडबैक भी शेयर कर सकते हैं। हम आप तक सही जानकारी पहुंचाने का प्रयास करते रहेंगे। अगर आपको ये स्टोरी अच्छी लगी है, तो इसे शेयर जरूर करें। ऐसी ही अन्य स्टोरी पढ़ने के लिए जुड़ी रहें हरजिंदगी से।

image credit: herzindagi

HerZindagi Video

HzLogo

HerZindagi ऐप के साथ पाएं हेल्थ, फिटनेस और ब्यूटी से जुड़ी हर जानकारी, सीधे आपके फोन पर! आज ही डाउनलोड करें और बनाएं अपनी जिंदगी को और बेहतर!

GET APP