हिंदू पंचांग के अनुसार आज आषाढ़ माह के कृष्ण पक्ष की त्रयोदशी तिथि है। आज कृत्तिका नक्षत्र के साथ इस दिन की शुरूआत हो रही है। साथ धृति योग भी बन रहा है। ज्योतिष गणना के हिसाब से इस दिन चंद्रमा वृषभ राशि में रहेंगे। आज सोमवार के दिन भगवान शिव की पूजा करने से व्यक्ति को मनोवांछित फलों की प्राप्ति हो सकती है और व्यक्ति का भाग्योदय हो सकता है। साथ ही कुंडली में ग्रहदोष भी दूर हो सकती है। अब ऐसे में आज 23 जून सोमवार के दिन किस मुहूर्त में किन उपायों और मंत्रों का जाप करने से लाभ हो सकता है। आइए इस लेख में ज्योतिषाचार्य पंडित अरविंद त्रिपाठी से विस्तार से जानते हैं।
आज का पंचांग 23 जून 2025
तिथि | नक्षत्र | दिन/वार | योग | करण |
कृष्ण पक्ष की त्रयोदशी | कृत्तिका नक्षत्र | सोमवार | धृति योग | गर और वणिज |
आज सूर्य और चंद्रमा का समय 23 जून 2025
सूर्योदय | सुबह 5 बजकर 46 मिनट से लेकर |
सूर्यास्त | शाम 7 बजकर 11 मिनट तक |
चंद्रोदय | प्रात: 03 बजकर 11 मिनट से लेकर |
चंद्रास्त | सुबह 05 बजकर 17 मिनट तक |
आज का शुभ मुहूर्त और योग 23 जून 2025
ब्रह्म मुहूर्त | सुबह 04 बजकर 10 मिनट से लेकर सुबह 04 बजकर 58 मिनट तक |
अमृत काल | दोपहर 01 बजकर 06 मिनट से लेकर 02 बजकर 33 मिनट तक |
अभिजीत मुहूर्त | दोपहर 12 बजकर 01 मिनट से लेकर दोपहर 12 बजकर 55 मिनट तक |
विजय मुहूर्त | दोपहर 02 बजकर 42 मिनट से लेकर दोपहर 03 बजकर 38 मिनट तक |
गोधूलि मुहूर्त | शाम 07 बजकर 19 मिनट से लेकर शाम 07 बजकर 40 मिनट तक |
निशिता मुहूर्त | रात 12 बजकर 02 मिनट से लेकर रात 12 बजकर 42 मिनट तक |
संध्या मुहूर्त | शाम 7 बजकर 21 मिनट से लेकर शाम 8 बजकर 21 मिनट तक |
त्रिपुष्कर योग | शाम 05 बजकर 38 मिनट से लेकर रात 01 बजकर 22 मिनट तक |
सर्वार्थ सिद्धि योग | शाम 03 बजकर 16 मिनट से लेकर शाम 05 बजकर 46 मिनट तक |
आज का अशुभ मुहूर्त 23 जून 2025
राहु काल | सुबह 07 बजकर 27 मिनट से लेकर सुबह 09 बजकर 07 मिनट तक |
गुलिक काल | दोपहर 02 बजकर 09 मिनटॉ से लेकर दोपहर 03 बजकर 50 मिनट तक |
यमगंड | सुबह 10 बजकर 48 मिनट से लेकर दोपहर 12 बजकर 29 मिनट तक |
दिशाशूल | पूर्व दिशा, यदि यात्रा आवश्यक हो, तो पान या सफेद तिल खाकर चौघड़िया मुहूर्त में यात्रा प्रारंभ करना चाहिए। |
दुर्मुहूर्त | दोपहर 12 बजकर 55 मिनट से लेकर 01 बजकर 49 मिनट तक |
आज पर्व और त्योहार 23 जून 2025
पंचांग के हिसाब से आज आषाढ़ माह के कृष्ण पक्ष की त्रयोदशी तिथि है और आज सोम प्रदोष व्रत के साथ-साथ मासिक शिवरात्रि का व्रत भी रखा जा रहा है। इस दिन भगवान शिव की पूजा विधिवत रूप से करने से व्यक्ति की सभी समस्याएं दूर हो सकती है और उत्तम परिणाम भी मिल सकते हैं।
आज सोमवार के उपाय 23 जून 2025
सोमवार के दिन सुबह स्नान करके स्वच्छ वस्त्र धारण करें और किसी शिव मंदिर जाकर शिवलिंग पर शुद्ध जल अर्पित करें। जल अर्पित करते समय 'ॐ नमः शिवाय' मंत्र का जाप करते रहें। ऐसा करने से मन को शांति मिलती है और नकारात्मकता दूर होती है।
सोमवार के दिन शिव मंत्रों का जाप करना अत्यंत फलदायी होता है। आप महामृत्युंजय मंत्र, शिव तांडव स्तोत्र, या 'ॐ नमः शिवाय' का 108 बार जाप कर सकते हैं। मंत्रों का जाप रुद्राक्ष की माला से करना अधिक शुभ माना जाता है। इससे एकाग्रता बढ़ती है और मानसिक तनाव कम होता है।
जल के साथ-साथ आप शिवलिंग पर दूध और दही से भी अभिषेक कर सकते हैं। गाय का कच्चा दूध और ताजा दही अभिषेक के लिए उत्तम माना जाता है। मान्यता है कि दूध से अभिषेक करने से आरोग्य की प्राप्ति होती है और दही से अभिषेक करने से धन-धान्य में वृद्धि होती है।
शिवलिंग पर चंदन का तिलक लगाना शुभ माना जाता है। चंदन की शीतलता भगवान शिव को प्रिय है। तिलक लगाते समय अपनी मनोकामनाएं मन में दोहराएं। इससे मन शांत रहता है और सकारात्मक ऊर्जा का संचार होता है।
आज सोमवार के खास मंत्र 23 जून 2025
ॐ त्र्यम्बकं यजामहे सुगन्धिं पुष्टिवर्धनम्। उर्वारुकमिव बन्धनान्मृत्योर्मुक्षीय माऽमृतात्॥
ॐ नमः शिवाय
ॐ तत्पुरुषाय विद्महे महादेवाय धीमहि तन्नो रुद्रः प्रचोदयात्
ॐ हौं जूं सः ॐ भूर्भुवः स्वः ॐ त्र्यम्बकं यजामहे सुगन्धिं पुष्टिवर्धनम् उर्वारुकमिव बन्धनान् मृत्योर्मुक्षीय मामृतात् ॐ स्वः भुवः भूः ॐ सः जूं हौं ॐ
प्रदोष व्रत पूजा मुहूर्त 23 जून 2025
23 जून 2025 को प्रदोष व्रत की पूजा का सबसे शुभ समय शाम 07:22 बजे से रात 09:23 बजे तक रहेगा। यह लगभग 2 घंटे की अवधि है, जिसे प्रदोष काल कहा जाता है और यह भगवान शिव की पूजा के लिए अत्यंत शुभ और फलदायी माना जाता है।
त्रयोदशी तिथि प्रारंभ: 23 जून 2025, रात्रि 01:21 बजे
त्रयोदशी तिथि समाप्त: 23 जून 2025, रात्रि 10:09 बजे
मासिक शिवरात्रि पूजा मुहूर्त 23 जून 2025
मासिक शिवरात्रि पर पूजा का सबसे शुभ समय निशीथ काल होता है। 23 जून 2025 को निशीथ काल पूजा का मुहूर्त है।
रात - 12 बजकर 03 मिनट से 12 बजकर 44 मिनट तक।
कुल अवधि - 40 मिनट तक
चतुर्दशी तिथि प्रारंभ - 23 जून 2025, सोमवार को रात 10:09 बजे
चतुर्दशी तिथि समाप्त - 24 जून 2025, मंगलवार को शाम 06:59 बजे
23 जून 2025 आज के पंचांग का महत्व
आज आषाढ़ माह के कृष्ण पक्ष की सोमवार का दिन है और यह दिन भगवान शिव को समर्पित है। साथ ही आज प्रदोष व्रत और मासिक शिवरात्रि का व्रत भी रखा जा रहा है। आप इस दिन भगवान शिव की पूजा विधिवत रूप से करें। इससे उत्तम परिणाम मिल सकते हैं और मनोवांछित फलों की प्राप्ति हो सकती है।
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Image Credit- HerZindagi
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