गोरे रंग के लिए इस एक्टर को किया जाता था ट्रोल, बोले 'बेटी को ऐसी परवरिश नहीं दूंगा...'

Neil Nitin Mukesh Childhood Trauma: नील नितिन मुकेश को अपने बचपन में गोरे रंग के चलते लोगों की बातें सुननी पड़ती थीं। बचपन में उनके दोस्त उन्हें गोरे रंग के चलते खूब चिढ़ाते थे। लोगों को लगता था कि उनका गोरापन एक बीमारी के चलते है। आइए जानें, नील नितिन मुकेश की कहानी...
  • Nikki Rai
  • Editorial
  • Updated - 2025-03-05, 14:56 IST
Neil Nitin Mukesh Childhood Trauma

Neil Nitin Mukesh Childhood Story: अब तक फिल्म इंडस्ट्री में कई सितारे बुलिंग को लेकर खुलकर बात कर चुके हैं। स्किन टोन को लेकर अक्सर कई एक्टर्स को ट्रोल होना पड़ा है। वहीं, कुछ को अपने वजन के चलते भी लोगों की बातें सुननी पड़ी। इसी तरह बॉलीवुड एक्टर नील नितिन मुकेश ने भी अपने बचपन को लेकर एक बड़ा खुलासा किया है। उन्होंने बताया कि उन्हें बचपन में अपने गोरे रंग की वजह से काफी कुछ सहना पड़ा। उनके साथी उन्हें उनके स्किन टोन के लिए चिढ़ाते थे। उनके साथ उनके गोरे रंग को एक बीमारी समझते थे। आइए जानें, आखिर क्यों एक्टर नील नितिन मुकेश को उनके गोरे रंग के लिए ट्रोल किया गया?

गोरे रंग को समझते थे बीमारी

नील नितिन मुकेश ने हाल ही में हिंदी रश को दिए एक इंटरव्यू में अपने बचपन को लेकर कई खुलासे किए। उन्होंने बताया, "मुझे ऐसा लगता है, जैसे मेरी जिंदगी मेरी स्किन टोन की बुलिंग से ही शुरू हुई है। खासकर मेरे स्कूल के दिनों में। मेरे दोस्त ही मुझे मेरे स्किन टोन के लिए रैग किया करते थे। जाहिर सी बात है, वो लोग कहते थे कि तूं तो इंडिया का ही नहीं है। एक बीमारी है विटलिगो, मेरे स्कूल में एक बंदे को थी। तो वो लोग कहते थे तूझे भी यही बीमारी है क्योंकि तेरा रंग इतना गोरा है।"

बेटी को नहीं देंगे ऐसी परवरिश

नील आगे कहते हैं कि इन सब बातों से उन्हें बहुत बुरा लगता था। उन्होंने आगे कहा, "मुझे कभी भी अपने लिए बुरा नहीं लगा, बल्कि मुझे उन लोगों की सोच और परवरिश के बारे में सोचकर बुरा लगता था। मैं अपनी लाइफ में कभी भी अपनी बेटी को ऐसी परपरिश नहीं दूंगा। मेरी अपनी बेटी नरवी को हमेशा सिखाता हूं कि ये प्रॉब्लम है तो आपको इंम्फेसाइज करना है। एक दिन उसने मुझसे आकर कहा कि पापा आपको पता है एक बच्चा है, जो चल नहीं सकता। मैं अगले दिन उस बच्चे के पास उसके साथ गया और उसे साथ में खेलने कहा। मैं इसी तरह से उसे अच्छी परवरिश देना चाहता हूं।"

खुद बनाई पर्सनैलिटी

नील ने बताया, "उस वक्त तो मुझे ये सब बुरा लगता था। कुछ समझ ही नहीं आता था। जैसे-जैसे में ग्रूम अप होने लगा, वो बेचारे भी ढल गए। मुझे अहसास हुआ मेरा एडवांटेज और डिसएडवांटेज क्या है। मैंने अपनी एक पर्सनैलिटी बना ली कि मैं बहुत लड़ाकू हूं। अगर किसी ने कहा कि नील तूं तो ये नहीं कर पाएगा, तो मैं वो काम करके ही दिखाऊंगा।"

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Image Credit:Instagram

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