
24 नवंबर 2025 का दिन मार्गशीर्ष माह के शुक्ल पक्ष की चतुर्थी तिथि के कारण अत्यंत विशेष है क्योंकि यह दिन विनायक चतुर्थी व्रत के रूप में मनाया जाता है। इस दिन भगवान गणेश की पूजा-अर्चना करने से सभी कार्य बिना बाधा के सफल होते हैं और घर में सुख-समृद्धि आती है। यह दिन सोमवार है इसलिए चतुर्थी के साथ सोमवार का संयोग होने से भगवान शिव और माता पार्वती की पूजा भी फलदायी होती है। इस पूरे दिन पूर्वाषाढ़ा नक्षत्र का प्रभाव रहेगा और चंद्रमा धनु राशि में रहेंगे। इस दिन सुबह 08:08 बजे से सुबह 09:27 बजे तक राहुकाल रहेगा जिस समय शुभ कार्य टालने चाहिए। ऐसे में आइये जानते हैं एमपी, छिंदवाड़ा के ज्योतिषाचार्य पंडित सौरभ त्रिपाठी से आज का पंचांग।
| तिथि | नक्षत्र | दिन/वार | योग | करण |
| मार्गशीर्ष शुक्ल चतुर्थी (रात 09:41 बजे)/पंचमी | पूर्वाषाढ़ा | सोमवार | शूल | वणिज |

| प्रहर | समय |
| सूर्योदय | सुबह 06:50 बजे |
| सूर्यास्त | शाम 05:24 बजे |
| चंद्रोदय | सुबह 09:59 बजे |
| चंद्रास्त | रात 08:31 बजे |
| मुहूर्त नाम | मुहूर्त समय |
| ब्रह्म मुहूर्त | सुबह 05:03 बजे से सुबह 05:57 बजे तक |
| अभिजीत मुहूर्त | सुबह 11:47 बजे से दोपहर 12:29 बजे तक |
| गोधुली मुहूर्त | शाम 05:23 बजे से शाम 05:50 बजे तक |
| विजय मुहूर्त | दोपहर 01:54 बजे से दोपहर 02:37 बजे तक |
| मुहूर्त नाम | मुहूर्त समय |
| राहु काल | सुबह 08:08 बजे से सुबह 09:27 बजे तक |
| गुलिक काल | दोपहर 01:25 बजे से दोपहर 02:44 बजे तक |
| यमगंड | सुबह 10:47 बजे से दोपहर 12:06 बजे तक |

24 नवंबर 2025 का मुख्य व्रत और त्यौहार विनायक चतुर्थी है, जो हर महीने शुक्ल पक्ष की चतुर्थी तिथि को मनाया जाता है। इस दिन विशेष रूप से भगवान श्री गणेश की पूजा की जाती है, उन्हें मोदक या लड्डू चढ़ाए जाते हैं और व्रत रखा जाता है ताकि जीवन की सभी बाधाएं दूर हो सकें और घर में सुख-समृद्धि बनी रहे। इसके अलावा, सोमवार का दिन होने के कारण, भक्त भगवान शिव और माता पार्वती की पूजा करके भी उनका आशीर्वाद प्राप्त करते हैं।
24 नवंबर 2025 को विनायक चतुर्थी व्रत होने के कारण यह दिन भगवान गणेश को समर्पित है, इसलिए इस दिन सबसे महत्वपूर्ण उपाय है कि आप पूजा के समय गणेश जी को दूर्वा (घास) और मोदक (या लड्डू) अर्पित करें, इससे गणेश जी शीघ्र प्रसन्न होकर सभी बाधाएं दूर करते हैं। चूंकि यह दिन सोमवार भी है, इसलिए भगवान शिव को जल चढ़ाकर, उनके साथ माता पार्वती की पूजा करने से चंद्र दोष दूर होता है और जीवन में सुख-शांति बनी रहती है। यह उपाय करने से सभी मनोकामनाएं पूरी होती हैं और कार्य में आ रही रुकावटें समाप्त होती हैं।
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