इस साल 23 अक्टूबर को भाई दूज का त्योहार मनाया जाएगा। इस दिन बहने अपने भाइयों को टीका करती हैं और उनकी नजर उतारती हैं। Bhai Dooj पर आरती की थाली का महत्व भाई के लंबी उम्र, समृद्धि और सुरक्षा की कामना करना है। यह थाली यमराज और यमुना की पौराणिक कथा से जुड़ी है, जिसमें यमुना ने अपने भाई का आरती, तिलक और भोजन करके स्वागत किया था। इस थाली में रखी जाने वाली सामग्री जैसे रोली, अक्षत, मिठाई आदि पूजा को पूर्ण करती हैं और बहन के अपने भाई के प्रति स्नेह और आशीर्वाद को दर्शाती हैं। इसी कड़ी में हम आपके लिए लेकर आए हैं कुछ ऐसी जरूरी चीजों के विकल्प जिनके साथ भाई दूज पर आप आरती की थाली तैयार कर सकती हैं।
Bhai Dooj 2025 पर इन जरूरी चीजों के साथ तैयार कीजिए आरती की थाली
Bhai Dooj पर भाई को टीका करने से पहले पड़ेगी एक सुंदर सी थाली की जरूरत। अब इधर-उधर नहीं, यहीं मिल जाएगी आपको जरूरी चीजों की लिस्ट, देखिए विकल्प।
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Shubhkart Nitya Akhand Narayan Diya
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बिना दिए के तो आरती की थाली अधूरी ही रहेगी। आरती की रस्म के लिए तेल का एक जलता हुआ दीपक इस्तेमाल किया जाता है, जो अंधकार के नाश और अच्छाई की विजय का प्रतीक है। भाई के सामने दीपक को गोलाकार में घुमाया जाता है और बहन उसकी लंबी उम्र की प्रार्थना करती है। इस रस्म के लिए ब्रास मटेरियल से बना यह दिया काम आ सकता है। पॉलिश्ड फिनिश के साथ आने वाला यह दिया 6.1L x 6.1W x 8.1H सेंटीमीटर साइज वाला है। इसे बत्ती रुई की बाती और पूजा के तेल का उपयोग करके आसानी से जलाया जा सकता है। इसका हीट रेजिजटेंट सुनिश्चित करता है कि इसे साफ करना भी आसान रहे।
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VASUDHAM Premium Madurai Red Kumkum
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आरती की थाली में टिका होना भी जरूरी है। इसे भाई के माथे पर तिलक लगाने के लिए किया जाता है, जो उसकी सुरक्षा और शुभता का प्रतीक है। 100% ऑर्गैनिक क्वालिटी वाला यह टीका हल्दी और चूने का इस्तेमाल करके बनाया गया है। यह किसी भी प्रकार की त्वचा पर उपयोग के लिए आदर्श विकल्प हो सकता है और यह छोटे बच्चों के लिए भी सुरक्षित रहेगा। इसे बिना किसी रंग और हानिकारक मिलावट के तैयार किया गया है। यह जैविक रूप से प्राप्त कुमकुम रोली कोई अवशेष नहीं छोड़ेगा।
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Wiffo kalawa/ Silk mauli red Yellow
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भाई दूज पर भाई की कलाई पर कलावा बांधा जाता है। यह बुरी शक्तियों से सुरक्षा और सकारात्मक ऊर्जा को आमंत्रित करने के लिए बांधा जाता है। सिल्क मटेरियल से बना यह धागा विशेष ग्रहों के नकारात्मक प्रभावों को दूर करने में मदद कर सकता है। पीले और लाल रंग में आने वाली यह मौली 15 मीटर लंबी है।
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Brijbooti Puja Supari Sabut 50 Gr
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सुपारी को भी आरती थाली में अक्सर शामिल किया जाता है। कुछ क्षेत्रीय समारोहों में भाई दूज पर बहन अपने भाई की हथेलियों में पान और सुपारी रखती हैं। यह सुपारी 100% प्राकृतिक है और हर तरह के केमिकल से मुक्त है। 50 ग्राम के पैकेट में आने वाली यह सुपारी बिल्कुल सफाई से पैक की गई है। इस पैक में कोई मिलावट, कृत्रिम रंग और प्रिजर्वेटिव नहीं मिलाया गया है।
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Haldiram's Kaju Katli 400g
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Bhai Dooj पर तिलक समारोह के बाद, बहनें अपने भाइयों को प्रेम और उत्सव के प्रतीक के रूप में मिठाई खिलाती हैं। बदले में, भाई अपनी बहन को मिठाई का एक टुकड़ा खिलाता है। इसके लिए Haldiram’s की यह काजू कलती काफी अच्छा विकल्प हो सकती है। शुद्ध सामग्री से बनी यह कतली काफी स्वादिष्ट रहेगी। यह कृत्रिम रंगों से मुक्त है, जिस वजह से इसका स्वाद और अच्छा हो जाएगा। इन्हें हाई क्वालिटी काजू से तैयार किया गया है जिससे एक मलाईदार बनावट मिलती है। यह खोलने के बाद करीब 15 दिनों तक खराब नहीं होगी।
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Faq's
- भाई दूज क्यों मनाते हैं?+भाई दूज भाई-बहन के प्रेम का प्रतीक है, जिसे पौराणिक कथाओं के आधार पर मनाया जाता है। एक प्रसिद्ध कथा के अनुसार, भगवान यम अपनी बहन यमुना से मिलने गए थे, जिन्होंने उनका आदर-सत्कार किया। यमराज प्रसन्न होकर उन्हें वरदान दिया कि इस दिन भाई-बहन के लिए यमुना नदी में स्नान करना शुभ होगा। एक अन्य कथा के अनुसार, श्री कृष्ण ने नरकासुर राक्षस का वध करने के बाद अपनी बहन सुभद्रा से मिलने गए थे, जिन्होंने उनका तिलक लगाकर और स्वागत करके इस त्योहार की शुरुआत की थी।
- इस साल भाई दूज कब है?+हिंदू पंचांग के अनुसार, इस साल द्वितीया तिथि की शुरुआत 22 अक्टूबर 2025, को रात 08:16 पर होगी। इसके साथ ही इसका समापन 23 अक्टूबर 2025, को रात 10:46 पर होगा। ऐसे में 23 अक्टूबर को भाई दूज का पर्व मनाया जाएगा। वहीं, इस दिन तिलक करने का शुभ मुहूर्त दोपहर 01:13 मिनट से 03:28 मिनट तक रहेगा।
- भाई दूज की आरती थाली में कौन-सी चीजें रहनी चाहिए?+भाई दूज की आरती थाली में रोली, चंदन, अक्षत (चावल), फूल, सुपारी, पान का पत्ता, सूखा नारियल, कलावा, फल और मिठाई रखनी चाहिए। इसके अतिरिक्त, एक दीपक जलाकर आरती करनी होती है और भाई को टीका लगाने के बाद मिठाई खिलाते हैं।