सनातन धर्म में पूर्णिमा तिथि का विशेष महत्व है। ऐसा माना जाता है कि किसी भी पूर्णिमा तिथि में चंद्रमा अपनी सोलह कलाओं से युक्त होता है इसलिए इस दिन चंद्रमा की किरणों से अमृत बरसता है। प्रत्येक महीने में एक पूर्णिमा तिथि होती है और पूरे साल में 12 पूर्णिमा तिथियां होती हैं।
प्रत्येक पूर्णिमा तिथि का अपना अलग महत्व है लेकिन माघ के महीने में होने वाली पूर्णिमा तिथि विशेष रूप से मायने रखती है। माघ महीने में पड़ने वाली पूर्णिमा तिथि के दिन पवित्र नदियों में स्नान करने को अत्यंत शुभ माना जाए है। ऐसी मान्यता है कि इस दिन जो व्यक्ति गंगा जैसी पवित्र नदियों में स्नान करता है उसकी मनोकामनाएं पूर्ण होती हैं और उसे समस्त पापों से मुक्ति मिलती है। आइए प्रख्यात ज्योतिर्विद पं रमेश भोजराज द्विवेदी जी से जानें इस साल कब मनाई जाएगी माघी पूर्णिमा और इसका क्या महत्व है।
माघ पूर्णिमा तिथि एवं शुभ मुहूर्त
- माघ पूर्णिमा तिथि आरंभ: 16 फरवरी 2022, बुधवार प्रातः 09:42 पर
- पूर्णिमा तिथि समापन: 16 फरवरी 2022, बुधवार रात्रि 10: 55 मिनट पर
- शोभन योग: रात्रि 16 फरवरी 2022, 08: 43 मिनट तक
माघी पूर्णिमा के दिन पवित्र स्नान का महत्व
पुराणों के अनुसार ऐसा माना जाता है कि माघी पूर्णिमा के दिन भगवान विष्णु गंगा नदी के जल में निवास करते हैं। ऐसी मान्यता है कि इस दिन चंद्रमा अपनी सोलह कलाओं से युक्त होकर अमृत की वर्षा करते हैं। इसलिए इसके अंश पृथ्वी की समस्त चीजों पर होते हैं जैसे वृक्षों, नदियों, जलाशयों और वनस्पतियों में पड़ते हैं। ऐसा कहा जाता है कि चन्द्रमा की किरणों से पूर्णिमा तिथि के दिन सभी पापों और रोगों से मुक्ति मिलती है। ज्योतिष के अनुसार माघ पूर्णिमा में स्नान दान करने से सूर्य और चंद्रमा युक्त सभी दोषों से मुक्ति मिलती है। इसलिए इस दिन गंगा नदी में जरूर स्नान करना चाहिए। गंगा जैसी किसी भी पवित्र नदी का स्नान माघी पूर्णिमा के दिन आपके लिए मोक्ष का द्वार खोलता है। शास्त्रों में इस बात का जिक्र भी है कि माघी पूर्णिमा के दिन चूंकि नदियों में भगवान विष्णु का वास होता है इसलिए इस दिन नदी स्नान से विष्णु जी की पूर्ण कृपा प्राप्त होती है।
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माघ पूर्णिमा के दिन दान पुण्य का महत्व
माघ पूर्णिमा के दिन विशेष रूप से गरीबों को भोजन कराना चाहिए और दान पुण्य करना चाहिए। ऐसा माना जाता है कि जो व्यक्ति इस दिन अपनी सामर्थ्य अनुसार दान पुण्य करता है उसे मोक्ष की प्राप्ति होती है। कहा जाता है माघ पूर्णिमा के दिन गंगा स्नान से समस्त पापों से मुक्ति मिलती है।
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माघ पूर्णिमा के दिन क्या करें
- माघ पूर्णिमा के दिन प्रातः जल्दी उठकर पवित्र नदी में स्नान करें।
- यदि आप नदी में स्नान करने में असमर्थ हैं, तो स्नान करते समय पानी में गंगाजल की कुछ बूंदें डालें।
- माघ पूर्णिमा व्रत नियमों का पालन करें। यदि आप व्रत करते हैं तो दिनभर फलाहर ग्रहण करें और यदि व्रत नहीं कर रहे हैं तब भी तामसिक भोजन न करें।
- इस दिन भगवान विष्णु की पूजा का भी विशेष महत्व होता है।
- इस दिन सत्य नारायण की कथा का भी विशेष महत्त्व है। इसलिए यदि आप सपरिवार कथा सुनेंगे तो ये अत्यंत फलदायी होगा।
- विष्णु जी का पूजन और आरती करें तथा सत्यनारायण कथा करके प्रसाद वितरण करें।
- गरीबों और जरूरतमंदों को सामर्थ्य अनुसार दान दें।
इस प्रकार माघ महीने की पूर्णिमा तिथि में स्नान, दान पुण्य तथा विष्णु पूजन से लाभ मिलता है अतः उपरोक्त विधि से पूजन करें।
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Image Credit: freepik,pixabay and unsplash
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