"बाइकिंग क्वीन्स" अब देश में जाना-पहचाना नाम है जिसने "सशक्त नारी, सशक्त भारत" का सबसे सही एक्ज़ाम्पल लोगों के सामने रखा है। ये गुजरात की 50 महिला मोटरसाइकिल सवारों का एक बाइकिंग समूह है। इन्होंने 13 राज्यों/संघ शासित प्रदेशों में 10,000 किलोमीटर से अधिक की यात्रा की है और लोगों को सामाजिक विषयों जैसे की "बेटी बचाओ, बेटी पढ़ाओ" और "स्वच्छ भारत" के लिए जागरुक कर रही हैं। इन लोगों ने 15 अगस्त, 2017 को लद्दाख के खारदुंग-ला में तिरंगा फहराया। जिसके लिए प्रधानमंत्री भी इनके प्रयासों की सराहना कर चुके हैं। हमने भी इन जाबांज महिलाओं को इनके काम के लिए प्रोत्साहन दिया। साथ ही इस समूह को शुरू करने वाले डॉ. सारिका गुप्ता से भी बात की और जाना कि इस पूरी journey के दौरान कैसा रहा उनका सफर...
1आप लोगों ने अपनी identity code के लिए Pink colour की t-shirt को ही क्यों choose किया जबकि आप इस stereotype को तोड़ भी सकती थीं?

जी हां, लेकिन हमलोगों ने नहीं तोड़ा। क्योंकि Pink लड़कियों का नहीं, It's the colour of power. वैसे भी हमारा bike riding पर जाने का कोई समय नहीं होता। ऐसे में अगर हम कोई और रंग जैसे- काली, ग्रे, की T-shirt पहनकर जाते हैं तो लोगों को पता नहीं चलता कि लड़का है कि लड़की। अभी हमारी T-shirt और helmet भी Pink colour की है। ऐसे में लोगों को दूर से ही पता चल जाता है कि लड़कियां आ रही हैं और लोग दूर हट जाते हैं।
2आपलोग दूर दराज के इलाकों में भी जाते हैं। लेकिन क्यों? आपका purpose क्या है?

गांवों में अब भी लड़कियों को पढ़ाया नहीं जाता। उनसे घर का काम कराया जाता है। उन्हें कमजोर समझा जाता है। जबकि ये गलत है। लड़कियों को लड़कों से ज्यादा पढ़ने का शौक होता है। हम गांव में जाते हैं तो आप सोच नहीं सकती कि बच्चियां और महिलाएं हमें देखकर कितनी ज्यादा खुश होती हैं। हम गांव में जाकर बच्चों को किताब-कॉपी बांटते हैं। महिलाओं को उनके अधिकारों के बारे में भी बताते हैं जिससे कि वे सरकारी योजनाओं का इस्तेमाल कर सकें।
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3आपलोग केवल किताब-कॉपी ही बांटती हैं या कभी सेनेटरी पैड भी बांटने के बारे में सोचा है?

हम ऐसा कर रहे हैं। हमलोग जो मेडिकल किट बांटते हैं उसमें सेनेटरी पैड भी शामिल होता है। गांव में ये सारी चीजें वैसे भी दुकानों में नहीं मिलती। ऐसे में हम उन्हें इसका ऑप्शन भी बता देते हैं।
4क्या है इसका ऑप्शन?

सूती कपड़ा। गांव की महिलाएं कपड़ा यूज़ करती हैं। कपड़ा यूज़ करने में कोई प्रोब्लम नहीं है। प्रोब्लम तब होती है जब आप कोई भी कपड़ा कैसे भी यूज़ कर लेते हैं। कोई भी कपड़ा यूज़ करने से वजाइना के आसपास वाले हिस्से में रैशेज़ पड़ जाते हैं। इसलिए पीरियड में हमेशा सूती कपड़ा यूज़ करना चाहिए और वो भी बिल्कुल साफ।
5आपको गांव में कैसा माहौल मिला? मतलब गांव में bike चलाती हुई लड़की... उनका reaction कैसा रहता है?

बहुत ज्यादा अच्छा! गांव की लड़कियां हमसे ज्यादा smart और bold होती हैं। आप विश्वास नहीं करोगे गांव की लड़कियां हमसे bike चलाने के लिए मांगती हैं और bike देने पर चलाने की काफी कोशिश करती हैं। यही है सशक्त भारत। हमें केवल कोशिश करने की ज़रूरत है। बाकि हमारा देश काफी सशक्त है वो आपकी कोशिश बेकार नहीं जाने देगा।
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6बाइकिंग क्वीन की journey

आप इनकी पूरी journey को आप इस वीडियो में भी देख सकते हैं। लड़कियों का अकेले गांवो से होते हुए, पहाड़ों से गुजरकर बर्फ की वादियों में बाइक चलाना देखना अच्छा लगेगा। एक बार देखिएगा ज़रूर। शायद आपकी दिमाग में बैठा stereotype टूट जाएगा कि "लड़कियां bike नहीं चला सकती। लड़कियां कुछ नहीं कर सकती।" क्या सच में? आप को भी ऐसा लगता है।